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🔱 सावन के दूसरे सोमवार को तेजो महालय के बाहर जलाभिषेक, हिंदू महासभा के नेताओं ने उतारी बाबा भोलेनाथ की आरती🕉️ ताजमहल को ...
21/07/2025

🔱 सावन के दूसरे सोमवार को तेजो महालय के बाहर जलाभिषेक, हिंदू महासभा के नेताओं ने उतारी बाबा भोलेनाथ की आरती

🕉️ ताजमहल को तेजो महालय बताकर अखिल भारत हिंदू महासभा ने किया जलाभिषेक, जयकारों से गूंजा परिसर

🪔 मेहताब बाग से शिवभक्तों ने निकाली यात्रा, ताजमहल के सामने शिव आराधना का अनूठा दृश्य

🚩 नितेश भारद्वाज के नेतृत्व में शिवभक्तों ने की पूजा, बोले– "तेजो महालय में विराजमान हैं बाबा भोलेनाथ"

🕯️ ताजमहल नहीं, यह तेजो महालय है! सावन सोमवार को किया गया शिवलिंग पर जलाभिषेक– हिंदू महासभा का दावा

🕉️ "बम बम भोले" के जयकारों संग ताजमहल के सामने उतरी आरती, शिवलिंग के जलाभिषेक पर धार्मिक माहौल गरमाया

📿 शिवभक्तों ने ताजमहल के सामने निभाई आस्था, बोले– "यह कोई मकबरा नहीं, महादेव का प्राचीन धाम है"

⚱️ तेजो महालय में जलाभिषेक कर बोले शिवभक्त– "मुगल इतिहास नहीं, हिंदू विरासत की वापसी जरूरी"

CBSE mandates CCTV cameras in Schools to protect physical and emotional abuse
21/07/2025

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उप राष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने इस्तीफा दिया
21/07/2025

उप राष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने इस्तीफा दिया

21/07/2025

*बच्चों को डायरिया से सुरक्षित बनाना योगी सरकार की प्राथमिकता*

*- स्टॉप डायरिया अभियान के जरिए जगाई जा रही जागरूकता की अलख*

*- डायरिया की रोकथाम, सफाई और ओरआरएस से रखें अपना ध्यान थीम पर चलाया जा रहा अभियान*

*- जागरूकता फैलाने के लिए स्वास्थ्य केंद्रो पर बनाए गए ओरआरएस आैर जिंक कार्नर*

*लखनऊ, 21 जुलाई:* शून्य से पांच साल तक के बच्चों को डायरिया से सुरक्षित बनाना योगी सरकार की प्राथमिकता में शामिल है। इसके लिए पूरे प्रदेश में डायरिया रोको अभियान (स्टॉप डायरिया कैम्पेन) चलाया जा रहा है। 31 जुलाई तक चलने वाले अभियान के तहत विभिन्न गतिविधियों के माध्यम से डायरिया के प्रति जन जागरूकता की अलख जगाई जा रही है। डायरिया से बचाव, कारण, रोकथाम व उपचार से जुड़े संदेशों वाले पोस्टर-बैनर व आडियो/वीडियो से सुसज्जित वाहन गली-मोहल्लों में पहुंच रहे हैं और लोगों को जागरूक बना रहे हैं। स्कूली बच्चों के बीच विभिन्न प्रतियोगिताएं आयोजित कर जागरूकता के सन्देश जन-जन तक पहुंचाए जा रहे हैं। दीवार लेखन और सार्वजनिक स्थलों पर ओआरएस- जिंक कार्नर बनाए गए हैं, निजी अस्पतालों को भी इस अभियान से जोड़ा गया है।

*डायरिया से डर नहीं कार्यक्रम का किया जा रहा संचालन*
योगी सरकार द्वारा डायरिया के प्रति समुदाय स्तर पर जनजागरूकता बढ़ाने, लोगों को ओआरएस और जिंक की महत्ता को भलीभांति समझाने के लिए पूरे प्रदेश में वृहद स्तर पर चलाये जा रहे स्टॉप डायरिया कैम्पेन की इस साल की थीम डायरिया की रोकथाम, सफाई और ओआरएस से रखें अपना ध्यान तय की गयी है। अभियान का उद्देश्य बच्चों में डायरिया की रोकथाम, ओआरएस व जिंक के उपयोग को प्रोत्साहन और जनसामान्य में स्वास्थ्य के प्रति जागरूकता फैलाना है। इसके तहत जिलों में विभिन्न गतिविधियां आयोजित की जा रही हैं, जिसमें विभिन्न स्वयंसेवी संस्थाएं भी स्वास्थ्य विभाग के सहयोग में जुटी हैं। पापुलेशन सर्विसेज इंटरनेशनल इण्डिया (पीएसआई इण्डिया) और केनव्यू ने स्टॉप डायरिया कैम्पेन में सहयोग के लिए “डायरिया से डर नहीं” जैसा कार्यक्रम संचालित कर एक अनूठी पहल की है।

*स्वास्थ्य केंद्रों पर ओआरएस और जिंक कार्नर बनाए गए*
सीएम योगी के निर्देश पर पीएसआई इण्डिया पहले चरण में प्रदेश के सात जिलों फिरोजाबाद, मथुरा, मुरादाबाद, बदायूं, उन्नाव, गोंडा और श्रावस्ती में शुरू की गयी है। इसके तहत स्वास्थ्य केन्द्रों पर ओआरएस और जिंक कार्नर बनाये गए हैं, निजी अस्पतालों का भी इसमें सहयोग लिया जा रहा है और उनसे क्लिनिक में ओआरएस कार्नर बनाने व डायरिया केस की रिपोर्टिंग की अपील की जा रही है। प्रचार वाहन भी समुदाय के बीच पहुंचकर लोगों को डायरिया के लक्षण, कारण और बचाव आदि के बारे में जागरूक कर रहे हैं। सार्वजनिक स्थलों जैसे- बस स्टॉप, रेलवे स्टेशन आदि पर ओआरएस कार्नर बनाये गए हैं और जगह-जगह हस्ताक्षर अभियान भी चलाये जा रहे हैं। सार्वजनिक स्थलों और स्वास्थ्य केन्द्रों पर दीवार लेखन के माध्यम से भी जन-जन को जागरूक किया जा रहा है कि डायरिया से डरने की नहीं बल्कि सतर्क रहने की जरूरत है और डायरिया होने पर बच्चे को जल्द से जल्द ओआरएस का घोल और जिंक का टेबलेट देना है। फ्रंट लाइन वर्कर का अभिमुखीकरण भी किया गया है ताकि वह लोगों को अच्छी तरह से परामर्श प्रदान कर सकें।

*मृत्यु दर की प्रमुख वजहों में शामिल है डायरिया*
राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन की निदेशक डॉ. पिंकी जोवल ने बताया कि डायरिया आज भी देश में खास तौर पर कमजोर आबादी और पांच साल से कम आयु वर्ग के बच्चों के लिए एक महत्वपूर्ण सार्वजनिक स्वास्थ्य समस्या के रूप में मौजूद है। यह बीमारी और मृत्यु दर के प्रमुख कारणों में से एक बना हुआ है। रोकथाम ही दस्त प्रबन्धन की कुंजी है। डायरिया के रोकथाम के लिए मुख्य गतिविधियों में सुरक्षित पेयजल तक पहुँच, बेहतर स्वच्छता, साबुन-पानी से अच्छी तरह से हाथ धोना, पर्याप्त पोषण जिसमें केवल स्तनपान और पूरक आहार शामिल हों , इसके अलावा समय पर बच्चे का टीकाकरण भी कराना शामिल है। इसके साथ ही ओआरएस और जिंक के साथ प्राथमिक उपचार शीघ्र स्वस्थ होने और निवारक उपायों के माध्यम से मृत्यु से बचने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है।

*आशा कार्यकर्ताओं द्वारा तैयार की जा रही बच्चों की सूची*
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देश पर दस्त की रोकथाम, उपचार और प्रबन्धन से जुड़ी चुनौतियों से निपटने के लिए हर साल डायरिया रोको अभियान (स्टॉप डायरिया कैम्पेन) चलाया जाता है। हर साल की भांति इस साल भी 16 जून से 31 जुलाई तक यह अभियान पूरे प्रदेश में चलाया जा रहा है। अभियान से पूर्व आशा कार्यकर्ताओं द्वारा गांव के पांच साल तक के बच्चों की सूची तैयार कराई जा चुकी थी, ऐसे बच्चों वाले घरों के सदस्यों को ओआरएस और जिंक की महत्ता को भलीभांति समझाया गया है । ओआरएस के पैकेट भी इन बच्चों के परिवार वालों को प्रदान किये गए हैं कि ताकि आपात स्थिति में वह उसका आसानी से इस्तेमाल कर सकें ।

*मां का दूध पीने वाले बच्चे को दस्त के दौरान भी कराएं स्तनपान*
राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन उत्तर प्रदेश के महाप्रबंधक बाल स्वास्थ्य कार्यक्रम डॉ. मिलिंद वर्धन का कहना है कि आज भी शून्य से पांच साल तक के बच्चों की मौत का एक प्रमुख कारण डायरिया है, जबकि दस्त की रोकथाम और उपचार पूरी तरह संभव है। बच्चे को दिन भर में तीन या तीन से अधिक बार दस्त हो तो समझना चाहिए कि बच्चा डायरिया से ग्रसित है और ऐसे में उसको तत्काल ओआरएस का घोल देना चाहिए ताकि शरीर में पानी की कमी न होने पाए, साथ ही निकटतम स्वास्थ्य केंद्र पर संपर्क करना चाहिए। इसके साथ ही जिंक टेबलेट उम्र के मुताबिक़ निर्धारित खुराक और निर्धारित अवधि तक देना शुरू कर देना चाहिए। ओआरएस जहां शरीर में पानी की कमी को दूर करता है वहीं जिंक दस्त की अवधि को कम करता है। इसके साथ ही बच्चे की इम्युनिटी को भी मजबूत बनाता है। डायरिया के दौरान यह भी ध्यान रखना जरूरी है कि मां का दूध पीने वाले बच्चे को दस्त के दौरान भी स्तनपान जारी रखें । मां का दूध बच्चे को पोषण और ताकत देता है।

*साबुन और पानी से अच्छी तरह धाेएं हाथ*
पीएसआई इंडिया के एक्जीक्यूटिव डायरेक्टर मुकेश शर्मा का कहना है कि बारिश और उमस में बच्चा डायरिया की चपेट में कई कारणों से आ सकता है, जैसे- दूषित जल पीने से, दूषित हाथों से भोजन बनाने या बच्चे को खाना खिलाने, खुले में शौच करने या बच्चों के मल का ठीक से निस्तारण न करने आदि से। इसलिए शौच और बच्चों का मल साफ़ करने के बाद, भोजन बनाने और खिलाने से पहले हाथों को साबुन-पानी से अच्छी तरह अवश्य धुलें।

21/07/2025

*पूर्वी पाकिस्तान से विस्थापित परिवारों को मिलेगा भूमि स्वामित्व, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का बड़ा निर्देश*

*मुख्यमंत्री का मानवीय निर्णय: पुनर्वासित परिवारों को मिलेगा न्याय और सम्मान*

*60 वर्षों से विस्थापन झेल रहे परिवारों को मिलेगा भूस्वामी अधिकार, जिलाधिकारियों को समयबद्ध कार्रवाई के निर्देश*

*मुख्यमंत्री ने कहा, “यह केवल पुनर्वास नहीं, राष्ट्रीय जिम्मेदारी है*

*पीलीभीत, लखीमपुर, बिजनौर और रामपुर में बसे 10,000 से अधिक परिवारों के लिए खुशखबरी*

*गवर्नमेंट ग्रांट एक्ट के निरसन के बाद नए विधिक विकल्प तलाशने के निर्देश*

*गाँवों में वर्षों से बसे लोगों के नाम अब राजस्व रिकॉर्ड में होंगे दर्ज*

*भूमि नहीं तो वैकल्पिक भूमि: योगी सरकार विस्थापितों को देगी गरिमामय जीवन का अधिकार*

*लखनऊ, 21 जुलाई:-* उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सोमवार को एक उच्चस्तरीय बैठक में पूर्वी पाकिस्तान (वर्तमान बांग्लादेश) से विस्थापित होकर राज्य के विभिन्न जिलों में बसाए गए परिवारों को विधिसम्मत भूस्वामित्व अधिकार देने की दिशा में ठोस कार्रवाई के निर्देश दिए। मुख्यमंत्री ने कहा कि यह केवल भूमि के हस्तांतरण का मामला नहीं है, बल्कि उन हजारों परिवारों के जीवन संघर्ष को सम्मान देने का अवसर है, जिन्होंने देश की सीमाओं के उस पार से भारत में शरण ली और दशकों से पुनर्वास की प्रतीक्षा कर रहे हैं। उन्होंने अधिकारियों से कहा कि इन परिवारों के साथ संवेदना के साथ-साथ यथोचित सम्मानपूर्वक व्यवहार किया जाए। यह शासन की नैतिक जिम्मेदारी है।

अधिकारियों ने बताया कि विभाजन के पश्चात 1960 से 1975 के बीच पूर्वी पाकिस्तान से विस्थापित होकर आए हजारों परिवारों को उत्तर प्रदेश के पीलीभीत, लखीमपुर खीरी, बिजनौर और रामपुर जनपदों में पुनर्वासित किया गया था। प्रारंभिक वर्षों में इन परिवारों को ट्रांजिट कैंपों के माध्यम से विभिन्न गांवों में बसाया गया और भूमि आवंटन भी किया गया, किंतु कानूनी और अभिलेखीय विसंगतियों के चलते अधिकांश को आज तक वैध भूमिधरी अधिकार प्राप्त नहीं हो सके हैं।

मुख्यमंत्री को अवगत कराया गया कि जनपद पीलीभीत, लखीमपुर खीरी, बिजनौर सहित कई जिलों में पूर्वी पाकिस्तान से विस्थापित होकर आए परिवारों को वर्षों पूर्व बसाया गया था और उन्हें कृषि भूमि भी आवंटित की गई थी। हालांकि, समय के साथ अभिलेखीय त्रुटियाँ, भूमि का वन विभाग के नाम दर्ज होना, नामांतरण की प्रक्रिया लंबित रहना अथवा भूमि पर वास्तविक कब्जा न होने जैसी कई प्रशासनिक व कानूनी जटिलताओं के चलते इन परिवारों को अब तक विधिसम्मत भूस्वामित्व अधिकार प्राप्त नहीं हो सके हैं। कुछ स्थानों पर अन्य राज्यों से आए विस्थापित भी बसाए गए हैं, जो आज भी भूमि स्वामित्व से वंचित हैं।

अद्यतन स्थिति के अनुसार, एक ओर जहाँ कई गांवों में वर्षों से खेती कर रहे परिवारों ने भूमि पर स्थायी आवास बना लिए हैं, वहीं राजस्व अभिलेखों में उनके नाम आज भी दर्ज नहीं हैं। दूसरी ओर, कुछ ग्रामों में वास्तव में आज भी उन परिवारों का कोई अस्तित्व नहीं है, जिन्हें पहले वहां बसाया गया था। कई परिवारों ने बिना कानूनी प्रक्रिया अपनाए भूमि पर कब्जा किया है, जिससे समस्या हो रही है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि जिन मामलों में पूर्व में भूमि का आवंटन गर्वनमेंट ग्रांट एक्ट के तहत हुआ था, उन्हें ध्यान में रखते हुए वर्तमान विधिक ढांचे में नए विकल्प तलाशे जाएं, क्योंकि यह अधिनियम 2018 में निरस्त किया जा चुका है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि यह संवेदनशील प्रयास दशकों से उपेक्षित विस्थापित परिवारों के लिए एक नई उम्मीद और गरिमापूर्ण जीवन का द्वार खोलने वाला साबित हो सकता है। इसे केवल पुनर्वास नहीं, बल्कि "सामाजिक न्याय, मानवता और राष्ट्रीय जिम्मेदारी" के रूप में देखना चाहिए।

21/07/2025

*डबल इंजन सरकार का साथ, विभाग का मार्गदर्शन और अपनी मेहनत से लिख रहे सफलता की कहानी*

*सक्सेज स्टोरी*

*प्रतिवर्ष कमा रहे करोड़ों, औरों को भी रोजगार दे रहे मत्स्य पालक*

*वाराणसी के विक्रांत पाठक ने 42 हेक्टेयर भूमि पर विकसित की बेस फिश फॉर्मिंग*

*अब 50 लोगों को दे रहे रोजगार, प्रति वर्ष कर रहे सवा से डेढ़ करोड़ की कमाई*

*मई में विश्व बैंक की टीम भी कर चुकी है विक्रांत के फॉर्म का निरीक्षण*

*जौनपुर की मीरा सिंह ने 2020-21 में एक एकड़ से शुरू किया था, आज 25 एकड़ में मत्स्य पालन कर बनीं आत्मनिर्भर*

*20 कुंतल प्रति हेक्टेयर प्रति वर्ष से बढ़कर अब 1400 कुंतल हुआ वार्षिक उत्पादन*

*लखनऊ, 21 जुलाईः* युवा हों या महिलाएं, डबल इंजन सरकार का साथ, मत्स्य विभाग का मार्गदर्शन और अपनी मेहनत से सफलता की नई कहानी लिख रहे हैं। एक तरफ मत्स्य पालन से स्वरोजगार कर सफलता पथ पर अग्रसर हैं तो दूसरी तरफ कइयों को रोजगार देकर उनके जीवन में नई रोशनी जला रहे हैं। ऐसी ही कहानी वाराणसी के विक्रांत पाठक और जौनपुर की मीरा सिंह की है, जिन्होंने मोदी-योगी सरकार के मार्गदर्शन में योजनाओं का लाभ लेकर अपनी अलग पहचान बना ली है।

*डबल इंजन सरकार के संकल्प से सफलता तक पहुंच रहे मत्स्य पालक*
वाराणसी के पिंडरा विकासखंड के चुप्पेपुर पोस्ट के पिंडराई ग्राम निवासी विक्रांत पाठक ने एक हेक्टेयर भूमि पर तालाब बनाकर मत्स्य पालन प्रारंभ किया था। प्रारंभिक लाभ कम होने पर उन्होंने मत्स्य विभाग से संपर्क कर तकनीकी सहायता प्राप्त की और वैज्ञानिक विधियों को अपनाया। विक्रांत पाठक ने दो हेक्टेयर निजी व 40 हेक्टेयर लीज भूमि का उपयोग कर बेस फिश फॉर्मिंग विकसित किया। नाबार्ड के सहयोग से एफपीओ गठित कर 150 मत्स्य पालकों को जोड़ा। साथ ही 30-40 लोगों को रोजगार भी प्रदान किया।

*विश्व बैंक की टीम भी कर चुकी है फॉर्म का निरीक्षण*
27 मई 2025 को विश्व बैंक की टीम ने उनके फॉर्म का भी निरीक्षण किया। आज पिंडरा ब्लॉक में वैज्ञानिक विधियों से मत्स्य बीज उत्पादन पर उनका जोर है। वे साढ़े चार-पांच लाख पंगेसियस बीज का संचयन व दो उत्पादन चक्रों में चार हजार से 4500 कुंतल उत्पादन कराने में भी सफल हो रहे हैं। 2024-25 में सात लाख पंगेसियस व 30 हजार आईएमसी बीज का संचालन भी वहां किया जा रहा है। यही नहीं, युवाओं को रोजगार सृजन का रास्ता दिखाने वाले विक्रांत वर्तमान में मत्स्य पालन से एक से डेढ़ करोड़ रुपये वार्षिक आमदनी भी कर रहे हैं। योगी सरकार से मिले सहयोग-मार्गदर्शन के लिए आभार जताते हुए विक्रांत कहते हैं कि उनका लक्ष्य एफपीओ का विस्तार कर 500 किसानों को जोड़ना है। उत्पादन क्षमता के साथ ही गुणवत्ता में भी सुधार पर जोर देते हुए वे समावेशी ग्रामीण विकास में योगदान जारी रखेंगे।

*डबल इंजन सरकार की बदौलत मीरा सिंह ने लिखा आत्मनिर्भऱता की कहानी*
जौनपुर के शाहगंज तहसील के सुइथाकला विकास खंड के ग्राम बुढ़ूपुर की मीरा सिंह ने तालाब निर्माण (नीली क्रांति) मत्स्य बीज हैचरी से प्रगतिशील मत्स्य पालक के रूप में अपनी पहचान बनाई। मीरा सिंह ने 2020-21 में एक एकड़ में मत्स्य पालन की शुरुआत की थी। स्वावलंबन में पति जैनेंद्र सिंह ने भी उनका बखूबी साथ निभाया। मत्स्य बीज हैचरी स्थापना के लिए विभाग की तरफ से मीरा सिंह को 15 लाख रुपये का अनुदान भी दिया गया था। विभाग के मार्गदर्शन में उन्होंने वैज्ञानिक ढंग से मत्स्य पालन का विस्तार किया।

*कभी 20 कुंतल प्रति हेक्टेयर होता था वार्षिक उत्पादन, अब 1400 कुंतल*
मीरा सिंह के यहां प्रारंभिक उत्पादन महज 20 कुंतल प्रति हेक्टेयर प्रति वर्ष होता था। 2024-25 में वे 25 एकड़ में मत्स्य पालन कर रही हैं, जहां से 1400 कुंतल प्रति हेक्टेयर वार्षिक उत्पादन हो रहा है। उनके तालाब से 1250 कुंतल पंगेशियस, 60-60 कुंतल रोहू व भाकुर, 30 कुंतल मृगल का उत्पादन हो रहा है। मीरा सिंह अब आसपास के गांवों में भी मत्स्य बीज की आपूर्ति कर रही हैं। क्षेत्रीय किसानों के लिए प्रेरणा बनीं मीरा सिंह 10 से अधिक लोगों को रोजगार भी दे रही हैं।

*वर्जन*

*हर गांव-हर वर्ग तक सरकारी योजनाओं की पहुंच*
मत्स्य पालन कर युवाओं, महिलाओं ने सफलता की नई कहानी लिखी है, जो उत्तर प्रदेश सरकार की योजनाओं की प्रभावशीलता और जमीनी स्तर पर सफलता को दर्शाती है। प्रदेश सरकार के नेतृत्व में समाज के सभी वर्ग तक योजनाओं का लाभ पहुंचाया जा रहा है। मत्स्य पालन जैसी विभिन्न योजनाओं से जुड़कर भी लोग आत्मनिर्भर और प्रदेश के आर्थिक विकास में सहभागी बन सकते हैं।
*एनएस रहमानी, निदेशक, मत्स्य विभाग*

21/07/2025

*रोजगार सृजन का साधन बनी पुनर्जीवित हो रही छोटी नदियां*

*-सीएम योगी के निर्देश पर एक करोड़ मानव दिवस कार्यों का सृजन, गांव बने खुशहाल*

*-राज्य स्वच्छ गंगा मिशन के तहत छोटी नदियों का किया जा रहा कायाकल्प*

*-मुख्यमंत्री की मंशा के अनुरूप हर जिले में एक नदी को किया जा रहा पुनर्जीवित*

*-जिला गंगा समितियों और मनरेगा के तहत जल संरक्षण के 2000 काम किए गए*

*लखनऊ, 21 जुलाई :* मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में उत्तर प्रदेश में नदियों के पुनर्जीवन और जल संरक्षण को लेकर अभूतपूर्व कार्य किए जा रहे हैं। राज्य स्वच्छ गंगा मिशन के तहत न सिर्फ छोटी नदियों का कायाकल्प हो रहा है, बल्कि इस कार्य से ग्रामीणों को भरपूर रोजगार भी मिला है। जल संरक्षण और रोजगार सृजन को समर्पित इस अभियान से गांव-गांव में खुशहाली आ रही है।
नदी पुनरुद्धार कार्यों के माध्यम से प्रदेश में अब तक करीब एक करोड़ मानव कार्य दिवस के रोजगार सृजित किए गए हैं। इससे न केवल श्रमिकों को आजीविका मिली, बल्कि जल संसाधनों का भी व्यापक स्तर पर संरक्षण हो रहा है। यह प्रयास ग्रामीण क्षेत्रों में आर्थिक मजबूती का कारण बन रहा है।

*हर जिले में पुनर्जीवित की जा रही एक नदी*
राज्य स्वच्छ गंगा मिशन उत्तर प्रदेश के परियोजना निदेशक प्रभाष कुमार ने बताया कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की मंशा के अनुरूप प्रत्येक जिले में एक नदी को पुनर्जीवित किया जा रहा है। यह कार्य मंडल स्तर पर मंडलायुक्त की अगुवाई में जिला गंगा समितियों तथा अन्य विभागों-मनरेगा, सिंचाई, लघु सिंचाई आदि के सहयोग से संचालित हो रहा है, जिससे स्थानीय स्तर पर भी जनभागीदारी सुनिश्चित हो रही है।

*जल संरक्षण के दो हजार काम पूरे किए गए*
राज्य स्वच्छ गंगा मिशन के अंतर्गत अब तक लगभग 2000 जल संरक्षण कार्य सफलतापूर्वक संपन्न किए गए हैं। इनमें तालाबों की खुदाई, जल निकायों का गहरीकरण, नालों की सफाई और जल संचयन संरचनाओं के निर्माण प्रमुख हैं। इसका व्यापक असर देखने को मिल रहा है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देश पर नदी पुनर्जीवन अभियान के अंतर्गत पर्यावरण संतुलन बनाए रखने के लिए नदियों के किनारे पौधों का रोपण भी बड़े पैमाने पर किया जा रहा है। यह कार्य न केवल हरियाली बढ़ाने में सहायक है, बल्कि इससे जलवायु परिवर्तन के दुष्प्रभावों को भी कम किया जा सकेगा।

*गांव-गांव में आई खुशहाली, नदियां बनीं जीवनदायिनी*
मुख्यमंत्री योगी के नेतृत्व में चल रहे इस अभियान से प्रदेश के गांवों में खुशहाली लौट रही है। जिन नदियों को कभी मृतप्राय माना जा रहा था, वे अब फिर से प्रवाहित हो रही हैं। इससे किसानों को सिंचाई का पानी मिला, भूजल स्तर सुधरा और पारिस्थितिकी तंत्र भी संतुलित हुआ है।

#है #है #है

21/07/2025

*स्पेशल* *योगी सरकार के ऑपरेशन कन्विक्शन ने 15 हजार से अधिक अपराधियों काे दिलायी सजा*

*- योगी सरकार ने पिछले एक साल में गंभीर अपराध हत्या, पॉक्सो एक्ट, बलात्कार, डकैती, लूट के मामलों में अपराधियों को दिलायी सजा*

*- हत्या के 3,411, पॉक्सो एक्ट के 6,075, डकैती के 174 और लूट के 740 अपराधियों को दिलायी गयी सजा*

*- योगी सरकार ने कोर्ट में प्रभावी पैरवी और साक्ष्यों के आधार पर दिलायी सजा, 47 हजार से अधिक मामले किये गये थे चिन्हित*

*- कोर्ट ने 19 हजार से अधिक मामलों का किया निपटारा, नवाचारों से सजा दिलाने के मामलों में आई तेजी*

*लखनऊ, 21 जुलाई:* योगी सरकार ने जीरो टाॅलरेंस नीति के तहत न केवल अपराधियों को सलाखों के पीछे धकेला, बल्कि कोर्ट में प्रभावी पैरवी और साक्ष्यों के आधार पर अपराधियों को सजा दिलायी। सीएम योगी के निर्देश पर अपराधियों को सजा दिलाने के लिए एक वर्ष पहले आॅपरेशन कन्विक्शन चलाया गया। आॅपरेशन के तहत पिछले एक वर्ष में गंभीर अपराध हत्या, डकैती, लूट, अपहरण और पाॅक्सो एक्ट में 15 हजार से अधिक अपराधियों को कठोर सजा दिलायी गयी है। इस दौरान गंभीर अपराध के 47 हजार से अधिक मामले चिन्हित किये गये। इनमें से कोर्ट द्वारा 19 हजार से अधिक मामलों का निस्तारण कर अपराधियों को सजा दी गयी।

*सबसे अधिक पॉक्सो एक्ट और बलात्कार के 6,075 अपराधियों को दिलायी गयी सजा*
डीजी अभियोजन दीपेश जुनेजा ने बताया कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देश पर अपराधियों काे सख्त से सख्त सजा दिलाने के लिए प्रदेशभर में ऑपरेशन कन्विक्शन चलाया जा रहा है। ऑपरेशन कन्विक्शन के तहत पिछले एक वर्ष में हत्या, डकैती, लूट, अपहरण, पोक्सो एक्ट, बलात्कार और चोरी जैसे गंभीर 47,149 अपराध के मामलों को चिन्हित किया गया। इनमें से कोर्ट द्वारा 19,584 मामलों का निर्णय करते हुए 15,641 अपराधियों को सजा सुनायी गयी। उन्होंने बताया कि हत्या के कुल 9,942 चिन्हित मामलों में से 4,137 का निर्णय हुआ, जिनमें से 3,411 अपराधियों को सजा मिली और 726 दोषमुक्त हुए। वहीं सजा दर 82.45 प्रतिशत है। इसी तरह पॉक्सो एक्ट/बलात्कार के 27,074 मामलों में 9,140 का निपटारा हुआ, जिसमें से 6,075 को सजा और 3065 दोषमुक्त हुए। इसमें सजा दर 66.46 प्रतिशत है। इसके अलावा डकैती के 461 मामलों में 203 का निर्णय हुआ, जिनमें से 174 को सजा मिली और 29 बरी हुए। इसमें सजा दर 85.71 प्रतिशत है। इसी तरह लूट के 1,969 मामलों में 780 निपटारे के बाद 740 को सजा और 40 को बरी किया गया। इसमें सजा दर 94.87 प्रतिशत रही। इसके साथ ही चोरी/गृहभेदन के 7,573 मामलों में से 5,246 मामलों का निपटारा हुआ, जिसमें 5175 को सजा और 71 दोषमुक्त हुए। इसका सजा दर 98.64 प्रतिशत है। इसी तरह अपहरण के 130 मामलों में 78 का निपटारा हुआ, जिनमें से 66 को सजा और 12 दोषमुक्त हुए। इसका सजा दर 84.61 प्रतिशत रहा।

*ई-प्रॉसीक्यूशन पोर्टल, केस ट्रैकिंग सिस्टम और वर्चुअल कोर्ट के जरिये सजा की दर में आयी तेजी*
डीजी ने बताया कि ऑपरेशन कन्विक्शन को प्रभावी बनाने के लिए योगी सरकार के नेतृत्व में टेक्नोलॉजी का भी उपयोग किया गया। इसमें ई-प्रॉसीक्यूशन पोर्टल, केस ट्रैकिंग सिस्टम, वर्चुअल कोर्ट सुनवाई जैसे कई नवाचारों को अपनाया गया है। वहीं जिला स्तर पर अभियोजन अधिकारियों को प्रशिक्षित कर मामलों की त्वरित समीक्षा करवाई जाती है, जिससे दोषियों को जल्द सजा दिलवाई जा सके। अभियान से एक ओर जहां आम नागरिकों में सुरक्षा की भावना मजबूत हुई है, वहीं अपराधियों में कानून का भय पैदा हुआ है। कई मामलों में देखा गया है कि संगठित गिरोहों का नेटवर्क कमजोर हुआ है और अपराध की प्रवृत्तियों में कमी आई है। उन्होंने बताया कि ऑपरेशन कन्विक्शन न केवल एक अभियान है, बल्कि यह प्रदेश में कानून के शासन की पुनर्स्थापना का प्रतीक बन चुका है।

#है #है #है

21/07/2025

लखनऊ

कल योगी कैबिनेट की अहम बैठक

शाम 4 बजे लोकभवन में होगी बैठक

कई प्रस्तावों पर लग सकती है मुहर।

गोंडा वाले  ैया की मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से मुलाकात ने गोंडा के अजेय समझने वाले विधायक जी की कुर्सी खतरे में आ गई ह...
21/07/2025

गोंडा वाले ैया की मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से मुलाकात ने गोंडा के अजेय समझने वाले विधायक जी की कुर्सी खतरे में आ गई है।
समझ तो विधायक जी भी रहे है कि कहां गलती हो गई।
शेर पर वक्त बुरा आए तो ढेला नहीं मारना चाहिए, उसके एक वार में दिन का रात हो जाता है।

कल तक उत्तर प्रदेश में जो मोदी जी के कट्टर समर्थक थे उनमें से अधिकांश अब योगी आदित्यनाथ जी की तरफ आ गए हैं। जो सामान्य स...
21/07/2025

कल तक उत्तर प्रदेश में जो मोदी जी के कट्टर समर्थक थे उनमें से अधिकांश अब योगी आदित्यनाथ जी की तरफ आ गए हैं। जो सामान्य समर्थक थे, उनमें भी एक बड़ा वर्ग योगी जी के समर्थन में है। बताया जा रहा है कि ये समर्थक मोदी का रिप्लेसमेंट योगी जी को बनाने पर तुले हुए हैं।

महाराष्ट्र में हो रहे भाषा विवाद पर योगी जी एक दम खामोश हैं। इस भाषा विवाद में सर्वाधिक उत्तर प्रदेश और बिहार के लोग ही पिस रहे हैं लेकिन कथित तौर पर बड़े नेता बन चुके योगी जी महाराष्ट्र के मराठी हिंदी भाषा विवाद में नहीं पड़ना चाहते, क्योंकि अगर वाकई वो प्रधानमंत्री की रेस में आना चाहते हैं तो उन्हें महाराष्ट्र से भी समर्थन और वोट चाहिए। अगर वो हिंदी और उत्तर भारतीयों के समर्थन में आए तो मराठी मानुष उन्हें वोट नहीं करेगा।

क्योंकि लड़ाई पूर्णतः सिर्फ और सिर्फ वोट लेकर सत्ता प्राप्ति की है तो जनता चाहे मार खाए या ...., राजनेता अपना अपना हित सिद्ध करते हैं।

हम तो मांग करते हैं, योगी जी आगे बढ़ कर उत्तर प्रदेश और बिहार के लोगों के समर्थन में आगे आएं। हिंदी–उर्दू विवाद की जगह हिंदी मराठी विवाद सुलझवायें।

21/07/2025

हर व्यक्ति को न्याय दिलाना सरकार की प्रतिबद्धता - केशव प्रसाद मौर्य

जनता की बात – उप मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य के साथ

जनता दर्शन बना जन संवाद का सशक्त माध्यम, समस्याओं के निस्तारण के निर्देश जारी

केशव प्रसाद मौर्य ने जनता दर्शन में सुनी समस्याएं, दिए त्वरित निस्तारण के निर्देश

जनता की आवाज़ को प्राथमिकता–उप मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य ने सुनी जन समस्याएं

उप मुख्यमंत्री ने दिये समस्याओं के त्वरित समाधान के निर्देश

सरकार जनहित के लिए संकल्पित–उप मुख्यमंत्री ने सुनी प्रदेशवासियों की समस्यायें

लखनऊ: 21 जुलाई 2025
उत्तर प्रदेश के उप मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य ने सोमवार अपने लखनऊ कैम्प कार्यालय पर आयोजित जनता दर्शन कार्यक्रम के दौरान प्रदेश के विभिन्न जनपदों से आए कई सैकड़ा लोगों की व्यक्तिगत एवं सार्वजनिक समस्याओं को ध्यानपूर्वक सुना और संबंधित विभागीय अधिकारियों को उनके त्वरित एवं प्रभावी निस्तारण के स्पष्ट निर्देश दिए।
जनता दर्शन में बड़ी संख्या में पुरुष, महिलाएं, वृद्धजन व युवा उपस्थित रहे, जिन्होंने अपनी समस्याओं को सीधे उप मुख्यमंत्री के समक्ष प्रस्तुत किया। अधिकतर प्रकरणों में भूमि विवाद, राजस्व संबंधित मुद्दे, चिकित्सा सहायता, पेंशन, आवास, सड़क, बिजली-पानी की समस्याएं, पुलिस कार्यवाही से सम्बन्धित, शिक्षा एवं रोजगार से जुड़े मामले रहे
उपमुख्यमंत्री ने कहा कि जनता दर्शन आमजन से सीधे संवाद का माध्यम है, जिससे जमीनी हकीकत सामने आती है। उन्होंने अधिकारियों को निर्देशित किया कि जनसमस्याओं के समाधान में किसी प्रकार की शिथिलता या लापरवाही न हो। उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि जिन मामलों में आवश्यक हो, वहां मौके पर जाकर निरीक्षण किया जाए और पीड़ितों को समयबद्ध राहत प्रदान की जाए।
उप मुख्यमंत्री ने कहा कि जरूरतमंदों व पात्र लोगों को हर सम्भव सरकारी सुविधाओं का भरपूर लाभ मिलना ही चाहिए।उन्होंने यह भी कहा कि सरकार आम जनता की भलाई के लिए पूर्णतः प्रतिबद्ध है और जनहित सर्वोपरि है। उपमुख्यमंत्री ने उपस्थित लोगों को आश्वस्त किया कि उनकी समस्याओं के समाधान हेतु सरकार हर संभव कदम उठाएगी और कोई भी पीड़ित निराश न लौटे—यही प्रदेश सरकार की प्राथमिकता है।
उपमुख्यमंत्री ने जनता दर्शन में आये फरियादियों को विश्वास दिलाते हुए कहा कि हर व्यक्ति की हर समस्या का हर सम्भव निदान किया जायेगा। उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिए कि प्रत्येक फरियादी की समस्या का त्वरित व संतुष्टिपरक समाधान किया जाय। निर्देश दिए कि समस्याओं का सम्पूर्ण समाधान किया जाय और समस्याओं के समाधान हेतु सम्बन्धित की जवाबदेही तय होनी चाहिये। निर्देश दिए कि जन समस्याओं का समयबद्ध निस्तारण सुनिश्चित किया जाए। किसी भी स्तर पर लापरवाही नहीं होनी चाहिए। उन्होंने कहा कि उत्पीड़न, भूमि पर अवैध कब्जों के मामलों को बेहद गंभीरता व संवेदनशीलता के साथ हल किया जाय और जहां जरूरत हो, कठोर कार्यवाही की जाय।
उन्होने जनसुनवाई के दौरान एक-एक व्यक्ति की समस्या को पूरी गम्भीरता से सुना तथा समस्याओं के निराकरण हेतु सम्बंधित अधिकारियों को निर्देश दिए। उन्होंने फरियादियों को विश्वास दिलाते हुये कहा कि परेशान न हो, समस्याओं का समाधान भी होगा, सरकार द्वारा प्रदत्त सुविधाएं भी मिलेंगी। उन्होंने सम्बंधित अधिकारियों को यह भी निर्देश दिए हैं कि समस्याओं का निराकरण इस प्रकार किया जाय कि समस्याग्रस्त व्यक्ति पूरी तरह से संतुष्ट रहें और उन्हें दुबारा कहीं भटकना न पड़े और बार -बार चक्कर न लगाने पड़ें। उन्होंने महिलाओं, दिव्यांग जनो, बुजुर्गों आदि की समस्याओं व शिकायतों को सुना और उन्हें प्राथमिकता के आधार पर संबंधित अधिकारियों को त्वरित गति से निदान करने हेतु आवश्यक दिशा निर्देश दिए ।उप मुख्यमंत्री फरियादियों के पास खुद चलकर गये और एक- एक व्यक्ति की समस्या को उनसे सीधे संवाद करते हुए सुना।
जनता दर्शन मे लगभग 3 दर्जन से अधिक ज़िलों से आये लोगों ने अपनी समस्याएं रखी। उप मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य ने समस्याओं के निस्तारण के बावत फर्रुखाबाद, बस्ती, बाराबंकी, बदायुं, सुल्तानपुर, कौशाम्बी व बरेली के जिलाधिकारी, आगरा के पुलिस कमिश्नर, फिरोजाबाद व शाहजहांपुर के पुलिस अधीक्षक तथा शासन के उच्चाधिकारियों से दूरभाष पर वार्ता करते हुए यथोचित दिशा निर्देश दिए। जमीन सम्बन्धी अधिकांश प्रकरणों में उन्होंने सम्बन्धित जिलाधिकारियों को निर्देश दिए कि राजस्व व पुलिस विभाग के अधिकारियों व कर्मचारियों की संयुक्त टीम बनाकर मौके पर भेजा जाय और सार्थक समाधान कराया जाय।

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