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जल्द ही अमेरिका को पीछे छोड़कर सुपर पॉवर बन जाएगा, यही वजह है कि अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप बुरी तरह से बौखला च...
31/07/2025

जल्द ही अमेरिका को पीछे छोड़कर सुपर पॉवर बन जाएगा, यही वजह है कि अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप बुरी तरह से बौखला चुके हैं! Siyasi Bharat 2.0

ट्रम्प की बोखलाहट डूबते अमेरिका की पहली निशानी है 👇🏻
अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने हाल ही में भारत पर 25% टैरिफ लगाने की घोषणा की है। उनका कहना है कि भारत रूस के साथ मिलकर अपनी अर्थव्यवस्था को डुबो रहा है, इसीलिए अमेरिका को “बचाव के लिए” टैरिफ बढ़ाने की ज़रूरत है। लेकिन ज़रा ठहर कर सच्चाई देखिए—वास्तव में भारत की GDP 6.7% की दर से बढ़ रही है जबकि अमेरिका की वृद्धि दर मात्र 1.6% है। यही नहीं, रूस की अर्थव्यवस्था भी तेज़ी से उभर रही है और चीन की अर्थव्यवस्था तो अब दुनिया की सबसे तेज़ गति से दौड़ रही है। चीन जल्द ही अमेरिका को पछाड़कर दुनिया की सबसे बड़ी महाशक्ति बन जाएगा, और भारत भी तीसरे स्थान पर खड़ा होगा।

साफ है कि अमेरिका की गाड़ी अब ढलान की ओर है। एक समय था जब अमेरिका का कहा पूरी दुनिया सुनती थी, लेकिन आज उसका आर्थिक प्रभुत्व चुनौती में है। यही वजह है कि वो उन देशों पर टैरिफ थोप रहा है जो वास्तव में विश्व आर्थिक मंच पर नयी शक्ति बनकर उभर रहे हैं। ट्रंप का यह कदम भारत को कमजोर करने का नहीं, बल्कि अपनी खुद की गिरती स्थिति को छुपाने का प्रयास है।

जब अमेरिका खुद उच्च टैरिफ लगाता है, तो उसे ‘राष्ट्रीय सुरक्षा’ कहा जाता है, लेकिन जब भारत अपनी आत्मनिर्भरता के लिए कुछ नियम बनाता है, तो उसे ‘गैर-व्यावसायिक’ ठहराया जाता है। यह दोहरा मापदंड अब ज़्यादा दिनों तक नहीं चलने वाला। भारत आज एक उभरती शक्ति है, जो तकनीक, निर्माण, रक्षा और डिजिटल सेक्टर में लगातार प्रगति कर रहा है। अमेरिका की टैरिफ नीति भारत को नहीं रोक सकती—बल्कि यह भारत को और आत्मनिर्भर और मज़बूत बनने की दिशा में प्रेरित करेगी।

अमेरिका को अब समझना होगा कि नया विश्व क्रम बन रहा है और इस बार एशिया उसकी धुरी होगा—जिसमें चीन सबसे आगे होगा और भारत उसका सबसे प्रबल प्रतिस्पर्धी और सहयोगी। ट्रंप को शायद इस बदलती हकीकत से डर लग रहा है। इसलिए नहीं कि भारत रूस से व्यापार कर रहा है, बल्कि इसलिए कि भारत अब झुकने को तैयार नहीं है।

#भारत_बनेगा_सुपरपावर

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31/07/2025

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सांगानेर विधानसभा क्षेत्र में विकास चीख-चीखकर अपना वजूद बता रहा है!

अमेरिका ने कनाडा को 51 वाँ राज्य बना दिया, रूस-यूक्रेन युद्ध समाप्त करवा दिया, इजराइल-फ़िलिस्तीन युद्ध बंद करवा दिया, ची...
31/07/2025

अमेरिका ने कनाडा को 51 वाँ राज्य बना दिया, रूस-यूक्रेन युद्ध समाप्त करवा दिया, इजराइल-फ़िलिस्तीन युद्ध बंद करवा दिया, चीन पर 250% टैरिफ़ लगा दिया, भारत का सीजफायर करवा दिया।
अब पाकिस्तान को दुनिया का सबसे बड़ा पावरफुल देश बनाने जा रहा है।
लगता है अगले तीन साल में अमेरिका दुनिया का सबसे बड़ा मू’र्ख देश बन जाएगा!
फिर भी ट्रम्प को नोबेल पुरस्कार नहीं मिला तो क्या होगा?

अमेरिका की फफड़ाहट चरम पर है! अमेरिका अब भारत के दुश्मनों के साथ मिलकर काम करेगा, कारोबार के लिए भारत पर दबाव बनाने के हथकंडे अपना रहा है

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31/07/2025

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मोदी-बीजेपी-संघ का विरोध करते-करते देश विरोधी हो गए!

अमेरिका अब चीन के साथ है तो भारत, फ्रांस, ब्रिटेन जैसे देशों का नया मोर्चा बन सकता है Siyasi Bharat 2.0
30/07/2025

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राफेल डील फ्रांस से हुई और चीन विमानों का कबाड़ इनसे ही किया गया, चीन, अमेरिका जैसे देशों ने राफेल गिराने का झूठ फैलाया👇🏻

डोनाल्ड ट्रंप ने भारत पर 25% टैरिफ लगाने का जो एलान किया है, वह सिर्फ व्यापारिक निर्णय नहीं बल्कि एक राजनीतिक और भूराजनीतिक दबाव की रणनीति है। ट्रंप का कहना है कि भारत एक तरफ तो अमेरिका से रक्षा साझेदारी चाहता है, लेकिन दूसरी तरफ वह रूस से हथियार खरीदता है और चीन के साथ मिलकर ऊर्जा समझौते करता है। इसके साथ ही ट्रंप ने भारत पर आरोप लगाया है कि वह अपने घरेलू बाजार को बचाने के लिए ऊँचे टैरिफ लगाता है, जिससे अमेरिकी कंपनियों को भारी नुकसान होता है। इस दलील के साथ ट्रंप ने भारत पर पैनल्टी लगाने की बात भी की है, जिसका अर्थ है कि आने वाले समय में भारत से अमेरिका को होने वाले निर्यात पर और बाधाएं लग सकती हैं।

भारत वाकई दुनिया के उन देशों में शामिल है, जहां आयात शुल्क सबसे ज्यादा हैं। वर्ल्ड ट्रेड ऑर्गेनाइजेशन के आंकड़ों के अनुसार भारत का औसत टैरिफ करीब 13.8% है, जो विकसित देशों की तुलना में काफी अधिक है। उदाहरण के तौर पर, अमेरिका में यह औसत सिर्फ 3% के आसपास होता है। खासतौर पर ऑटोमोबाइल, टेक्सटाइल, फार्मा, इलेक्ट्रॉनिक्स जैसी कई श्रेणियों में भारत 20% से 100% तक की कस्टम ड्यूटी लगाता है। इससे विदेशी कंपनियों को भारत में व्यापार करना महंगा पड़ता है, जबकि भारतीय कंपनियों को घरेलू बाजार में संरक्षण मिलता है। यही वजह है कि ट्रंप भारत के टैरिफ स्ट्रक्चर को “अनफेयर” मानते हैं और उसकी आलोचना करते हैं।

अगर अमेरिका 25% टैरिफ वाकई लागू करता है, तो इसका पहला असर भारत के निर्यात पर पड़ेगा। भारत का अमेरिका को निर्यात 80 अरब डॉलर से ज़्यादा का है। इसमें टेक्सटाइल, ऑटो पार्ट्स, स्टील, फार्मा, रत्न और आभूषण जैसी चीज़ें शामिल हैं। टैरिफ बढ़ने से ये प्रोडक्ट अमेरिका में महंगे हो जाएंगे, जिससे वहां की डिमांड घटेगी और भारतीय कंपनियों को नुकसान होगा। सबसे अधिक प्रभाव छोटे और मझोले उद्योगों पर पड़ेगा, जो भारतीय अर्थव्यवस्था की रीढ़ हैं। साथ ही, इसका असर भारत के रोजगार क्षेत्र पर भी पड़ेगा क्योंकि ये सेक्टर बड़ी संख्या में लोगों को रोज़गार देते हैं।

इस टैरिफ निर्णय से भारत और अमेरिका के संबंधों में तनाव आ सकता है। पिछले कुछ वर्षों में भारत-अमेरिका ने रणनीतिक, रक्षा और तकनीकी क्षेत्रों में गहरी साझेदारी की है। लेकिन रूस से भारत की रक्षा डील, जैसे S-400 मिसाइल सिस्टम, और चीन से भारत का ऊर्जा आयात ट्रंप के नज़रिए से अमेरिका के हितों के खिलाफ जाता है। ट्रंप की सोच है कि अगर भारत अमेरिका से टेक्नोलॉजी, हथियार और बाज़ार चाहता है तो उसे अमेरिका के भू-राजनीतिक विरोधियों से दूरी बनानी होगी। ये फैसला एक संकेत है कि अमेरिका भारत पर दबाव बनाना चाहता है कि वह सिर्फ कागज़ों में नहीं बल्कि व्यवहारिक स्तर पर भी अमेरिकी पक्ष ले।

भारत इस फैसले को WTO यानी वर्ल्ड ट्रेड ऑर्गेनाइजेशन में चुनौती दे सकता है, क्योंकि यह अंतरराष्ट्रीय व्यापार नियमों के खिलाफ है। लेकिन WTO की प्रक्रिया धीमी होती है और तब तक भारत को निर्यात में नुकसान उठाना पड़ सकता है। ऐसे में भारत को विकल्प खोजने होंगे — जैसे यूरोप, अफ्रीका और ASEAN देशों के साथ व्यापार बढ़ाना ताकि अमेरिकी निर्भरता कम हो सके। इसके अलावा भारत को घरेलू स्तर पर टैक्स स्ट्रक्चर में पारदर्शिता और स्थिरता लानी होगी, जिससे अमेरिका जैसे देशों को यह भरोसा हो सके कि भारत सुधार की दिशा में गंभीर है।

ट्रंप की यह नीति भारत के लिए एक चेतावनी है कि ‘मल्टी-अलाइनमेंट’ की नीति हर जगह नहीं चलती। अमेरिका चाहता है कि भारत अपने हितों को अमेरिका के रणनीतिक हितों के अनुरूप ढाले। यदि ट्रंप अमेरिका के राष्ट्रपति बनते हैं, तो इस तरह के टैरिफ और पॉलिसी फैसले और बढ़ सकते हैं। भारत के लिए चुनौती यह होगी कि वह अमेरिका, रूस और चीन के साथ अपने रिश्तों में संतुलन बनाए रखे, लेकिन साथ ही अपने आर्थिक हितों की रक्षा भी करे। यदि भारत सही कूटनीतिक रणनीति अपनाता है और अमेरिका से उच्च स्तरीय संवाद करता है, तो इस टकराव को टाला जा सकता है। लेकिन अगर यह विवाद बढ़ता है, तो यह सिर्फ एक व्यापार युद्ध नहीं बल्कि वैश्विक स्तर पर भारत की रणनीतिक दिशा पर सवाल खड़ा कर सकता है।

क्या भारत भी अमेरिका पर चीन की तरह जवाबी टैरिफ लगाकर अपनी ताकत दिखाएगा? Siyasi Bharat 2.0
30/07/2025

क्या भारत भी अमेरिका पर चीन की तरह जवाबी टैरिफ लगाकर अपनी ताकत दिखाएगा? Siyasi Bharat 2.0

अमेरिका ने भारत पर 25% टैरिफ लगाया – रिश्तों में बढ़ती तल्खी?

दुनिया की दो बड़ी लोकतांत्रिक ताकतों, भारत और अमेरिका के बीच व्यापारिक रिश्तों में एक नया झटका। अमेरिका ने अब भारतीय उत्पादों पर 25% का भारी-भरकम टैरिफ लगा दिया है। इससे भारत के लिए अमेरिका में चीज़ें बेचना और मुश्किल हो जाएगा।

क्या ये चीन को घेरने की रणनीति का उल्टा असर है? क्या ये भारत की आत्मनिर्भरता की कीमत है?
या फिर चुनावी साल में अमेरिका के घरेलू दबावों का असर? जो भी हो, ये फैसला भारत के निर्यातकों और आम उपभोक्ताओं दोनों को चोट पहुँचाएगा। अब सवाल ये है कि भारत भी जवाबी टैरिफ लगाएगा या चुपचाप झेलेगा?

#भारतअमेरिका #व्यापारयुद्ध

30/07/2025

रूस, जापान, अलास्का में दुनिया का अब तक का 6ठा सबसे भयंकर भूकंप Siyasi Bharat 2.0

इसलिए अमेरिका बार-बार कहता है कि भारत पर टैरिफ बढ़ायेगा, अमेरिका चीन के आगे झुक चुका है, अब बढ़ते भारत को रोकना चाहता है...
30/07/2025

इसलिए अमेरिका बार-बार कहता है कि भारत पर टैरिफ बढ़ायेगा, अमेरिका चीन के आगे झुक चुका है, अब बढ़ते भारत को रोकना चाहता है Siyasi Bharat 2.0

अमेरिका को भारत के बढ़ते कदमों से बहुत तकलीफ़ है, बढ़ता भारत किसको पसंद होगा?

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30/07/2025

दुनिया में कोई भी देश ऐसा नहीं है जिसने भारत को युद्ध रोकने को कहा हो: मोदी
पीएम मोदी का यह बयान आपको कैसा लगा? Siyasi Bharat 2.0

हमने ही पाकिस्तान को ठोका और हमने ही युद्ध रोका, कोई चौधरी नहीं था

जेल की काल कोठरी में महारानी गायत्री देवी के साथ क्या-क्या हुआ था?👇🏻Siyasi Bharat 2.0
29/07/2025

जेल की काल कोठरी में महारानी गायत्री देवी के साथ क्या-क्या हुआ था?👇🏻Siyasi Bharat 2.0

“एक राजमाता की कोठरी: गायत्री देवी की जेल डायरी” (काल्पनिक)👇🏻

“राजमहल की सीढ़ियाँ उतरते हुए मैंने सोचा था, यह क्षण भी बीत जाएगा, लेकिन जब तिहाड़ की सड़ांध भरी कोठरी में पहला दरवाज़ा बंद हुआ,
तब जाना यह सिर्फ एक क्षण नहीं, एक परीक्षा है।”

1975 का वह वर्ष जब भारत के लोकतंत्र पर ताले जड़े गए। प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी ने आपातकाल लागू किया और विपक्ष को एक-एक कर कुचलना शुरू किया। उसी दौरान गिरफ्तार की गईं – जयपुर की पूर्व महारानी, लोकसभा सांसद और देश की राजसी शान – गायत्री देवी।
जयपुर की हवेलियों से निकलकर दिल्ली की तिहाड़ जेल की कालकोठरी तक पहुँचने में जो गिरावट महसूस हुई, वह सिर्फ भौतिक नहीं थी – यह आत्मा पर वार था।
सफेद रेशमी साड़ी पहने गायत्री देवी जब जेल में दाख़िल हुईं, तो किसी जेल अधिकारी ने तकरीबन ताना मारते हुए कहा: “अब यहां रॉयल्टी नहीं, रूल्स चलते हैं।”

उनकी कोठरी में न कोई बिछावन था, न पंखा, न अलग शौचालय। दीवारों पर सीलन, जमीन पर कीड़े और आसपास अपराधिनों की चीख-पुकार।
वह पहली रात, उन्होंने फर्श पर बैठकर माँ दुर्गा का ध्यान करते हुए काटी।
उनके चारों ओर वो महिलाएं थीं, जिनके चेहरे पर दर्द की झुर्रियाँ और आंखों में सवाल थे। कोई गर्भवती थी, किसी के बच्चे उससे छीन लिए गए थे। गायत्री देवी ने इन महिलाओं से बातचीत शुरू की, उनकी कहानियाँ सुनीं और उन्हें एक “माँ” की तरह सहारा दिया।
उन्होंने जेल के अधिकारियों से कहा: “अगर एक औरत को इतनी असहनीय स्थितियों में रखा जा सकता है, तो भारत का महिला सशक्तिकरण महज़ नारा है।” उन्होंने कोई आंदोलन नहीं किया, कोई बयान नहीं दिया, लेकिन उनकी खामोशी सत्ता के लिए खतरा बन गई।
• भोजन घटाया गया
• परिवार से चिट्ठियाँ रोक दी गईं
• हर हफ्ते नया कैदी उनकी कोठरी में रखा जाता
• निगरानी के लिए कैदियों को उकसाया गया, लेकिन वह झुकी नहीं।

गायत्री देवी को भगवद गीता दी गई।
वहीं उन्होंने “A Princess Remembers” की रूपरेखा बनानी शुरू की।
रात के अंधेरे में जब जेल के अन्य कैदी सो जाते, वह बैठकर मन ही मन अपने जीवन की घटनाएँ दोहरातीं – बचपन, महाराजा मानसिंह से विवाह, लंदन की शिक्षा, चुनावी विजय, और अब यह सन्नाटा।

तीन महीने के अंदर उनका वजन 10 किलो घट गया। बीपी बढ़ गया। डॉक्टरों ने कहा – “आराम जरूरी है”, लेकिन जेल में “आराम” एक शब्द मात्र था।
इसके बावजूद, जब वे जेल से बाहर निकलीं, तो सिर ऊँचा था।
उन्होंने कहा:
“मैं टूटी नहीं, क्योंकि मैं अपने अस्तित्व की रानी थी – ताज के बिना भी।”

गायत्री देवी की जेल यात्रा सिर्फ एक राजनीतिक बदले की कहानी नहीं, बल्कि भारतीय नारी के सम्मान, धैर्य और संकल्प की कहानी है।
उन्होंने साबित कर दिया कि “राजमाता” का ताज सिर पर नहीं, आत्मा में होता है।
आज पुण्यतिथि पर जयपुर पूर्व राजघराने की महारानी स्व. गायत्री देवी को श्रद्धांजलि💐

विदेशी के मामले में अमित शाह ने विपक्ष को रगड़ दिया! Siyasi Bharat 2.0
28/07/2025

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भारत की 151 करोड़ की जनसंख्या की भावनाओं पर बीसीसीआई की मनमर्जी भारी पड़ रही है! Siyasi Bharat 2.0
28/07/2025

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पहलगाम हमले और “ऑपरेशन सिंदूर” के बीच क्या भारत-पाकिस्तान के बीच क्रिकेट मैच होने चाहिए?👇🏻

पहलगाम हमले में हमारे जवानों की शहादत के ठीक बाद “ऑपरेशन सिंदूर” ने दुनिया को दिखा दिया कि भारत अब खून के हर कतरे का हिसाब लेता है। मगर सवाल ये है कि क्या ऐसे वक्त में हम पाकिस्तान से क्रिकेट खेल सकते हैं?
जिस मुल्क की सरजमीं से आतंकी हमारे सैनिकों पर गोलियां चलाते हैं, क्या उससे हम गेंद-बल्ला चला सकते हैं? ये सिर्फ मैच नहीं होता, ये उस मुल्क को अंतरराष्ट्रीय मान्यता और सम्मान देने जैसा होता है। जब जवान का सिंदूर मिटता है, तब कोई खेल मायने नहीं रखता। अब वक्त आ गया है कि बॉर्डर पर जवाब के साथ-साथ मैदान पर बहिष्कार भी जरूरी है।

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