
07/08/2025
बालिकाओं को आत्मरक्षा का प्रशिक्षण : पुलिस विभाग की सराहनीय पहल
- एमड़ी व मोही स्कूल में बालिकाओं को सिखाएं आत्मरक्षा के गुर
राजसमंद। जिला मुख्यालय के समीप एमड़ी स्थित राउमावि में गुरुवार को बालिकाओं को आत्मरक्षा के गुर सिखाए गए। जिला पुलिस अधीक्षक ममता गुप्ता के निर्देशन और एएसपी (महिला सेल) रजत विश्नोई के मार्गदर्शन में आयोजित इस प्रशिक्षण शिविर का उद्देश्य बालिकाओं की सुरक्षा और आत्मनिर्भरता सुनिश्चित करना है। प्रधानाचार्य भानु कुमार वैष्णव ने बताया कि प्रशिक्षण शिविर स्थानीय विद्यालय में बड़ी मुस्तैदी से चलाया जा रहा है। वरिष्ठ शारीरिक शिक्षक धर्मेंद्र अनोखा ने बताया कि प्रशिक्षण सत्र में बालिकाओं को हाथों से बचाव, सतर्कता, मानसिक मजबूती और आपातकालीन स्थिति में स्वयं की सुरक्षा कैसे करें, इसके तरीके सिखाए जा रहे हैं। प्रशिक्षण में साइबर अपराधों और महिलाओं से संबंधित कानून’ की भी जानकारी दी जा रही है। बालिकाओं को बिना हथियार के असामाजिक तत्वों से अपना बचाव करने के लिए फिंगर अटैक, अपर पंच, मिडिल पंच, लॉवर पंच, अपर ब्लॉक, मिडिल ब्लॉक, लॉवर ब्लॉक, गुड टच-बैड टच जैसी तकनीकें सिखाई जा रही हैं। इसके अतिरिक्त मानव तस्करी, महिला अत्याचार, बाल सुरक्षा, स्थानीय थाने, चौकी और बीट ऑफिसर के बारे में तथा विभिन्न प्रकार के आपातकालीन नंबरों की जानकारी प्रदान की गई, ताकि लड़कियां किसी भी संकट की स्थिति में तुरंत सहायता प्राप्त कर सकें।
पुलिस टीम का सराहनीय योगदान
प्रशिक्षण शिविर में मास्टर ट्रेनर के रूप में महिला कांस्टेबल प्रियंका वर्मा, सुजीत चौधरी, जान्हवी साहू, सीमा चौधरी, और अनुज ढाका ने अपनी सराहनीय सेवाएं प्रदान कीं। प्रधानाचार्य भानु कुमार वैष्णव ने पुलिस विभाग की महिला टीम का आभार व्यक्त करते हुए कहा कि वर्तमान समय में बालिकाओं को अपनी सुरक्षा और आत्मरक्षा करने में यह प्रशिक्षण निश्चित रूप से कारगर साबित होगा।
मोही में तीन दिवसीय महिला आत्मरक्षा और जागरूकता प्रशिक्षण संपन्न
जिला पुलिस और राजसमंद शिक्षा विभाग के तत्वावधान में महात्मा गांधी राउमावि मोही में आयोजित तीन दिवसीय महिला आत्मरक्षा एवं जागरूकता प्रशिक्षण शिविर सफलता पूर्वक संपन्न हुआ। प्रशिक्षण कार्यक्रम के दौरान बालिकाओं को आत्मरक्षा के कई महत्वपूर्ण गुर सिखाए गए। इन तकनीकों का उद्देश्य आपातकालीन स्थिति में लड़कियों को अपनी सुरक्षा करने में सक्षम बनाना है। शारीरिक प्रशिक्षण के साथ-साथ, बालिकाओं को राज कॉप सिटीजन ऐप के बारे में भी विस्तृत जानकारी दी गई, जो उन्हें पुलिस सहायता तक त्वरित पहुंच प्रदान करने में सहायक होगा। इसके अतिरिक्त उन्हें साइबर अपराधों के विभिन्न रूपों और उनसे बचने के तरीकों के बारे में भी जागरूक किया गया, जो आज के डिजिटल युग में बेहद आवश्यक है। आत्मरक्षा और जागरूकता प्रशिक्षण में मीना शर्मा, सरिता राठौड़, रीना चौहान, अनिता राठौड़ और संदीप चौधरी शामिल थे, जिन्होंने बालिकाओं को आत्मरक्षा के कौशल सिखाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। इस दौरान प्रिंसिपल कीमा कुमारी, मीना पारीक, वेदप्रकाश महर्षि, लीलाधर कुमावत, केशुलाल रेगर, प्रकाशचंद्र जाट, ललिता भट्ट, नरेंद्र जोशी उपस्थित थे।