Ritesh Kumar Bhanu

Ritesh Kumar Bhanu A dreamer, A believer and A go-getter. Digital Marketing Experts trying to build Public relations. This is My Official page

I am famous For TechRitesh.

our business is an innovative Freelance Startup web agency in North Region. Our passion for helping small and medium size businesses has grown us into a full-service strategic marketing company developing online solutions for organizations across business sectors. I am also a leading Software / Website Designing & Development in North India , India. Our professional Web Development Team provides a

wide range of Creative & Technical Web Solutions including Web Designing & Development, Web Hosting, Digital Marketing & SEO Services, be it developing an Online and a successful E-Commerce Store or creating a Corporate Online Presence. Now, I am able to deliver fantastic returns on investment for our clients using our unique mixture of human skill and automated management technologies. we are perfectly placed to understand your needs, offer solutions to your business objectives and guide you through every step of your businesses digital journey. Our Mission is to assist our Client to achieve their goal and to begin a Digital Revolution wherever digital strategy are ploted thought to win the war of online Brand Name.

महार्षि महेश योगी रामायण विश्वविद्यालय Admission 2025-26 के लिए आवेदन प्रक्रिया अब शुरू हो चुकी है। यह विश्वविद्यालय उत्...
13/07/2025

महार्षि महेश योगी रामायण विश्वविद्यालय Admission 2025-26 के लिए आवेदन प्रक्रिया अब शुरू हो चुकी है। यह विश्वविद्यालय उत्तर प्रदेश की योगी सरकार द्वारा हाल ही में स्वीकृत किया गया है, जिसकी मंज़ूरी कैबिनेट बैठक में दी गई थी। Yogi Sarkar का यह निर्णय राज्य में भारतीय संस्कृति, वेद, योग और रामायण अध्ययन को बढ़ावा देने के उद्देश्य से लिया गया है। अब विश्वविद्यालय UG, PG और डिप्लोमा कोर्सेज के लिए योग्य विद्यार्थियों से आवेदन आमंत्रित कर रहा है। यहाँ बी.ए., एम.ए. (संस्कृत, दर्शन, रामायण), योग और ध्यान में डिप्लोमा जैसे पाठ्यक्रम उपलब्ध हैं। Maharishi Mahesh Yogi Ramayan University अपने छात्रों को न केवल आधुनिक शिक्षा, बल्कि भारत की गौरवशाली परंपरा और आध्यात्मिक मूल्यों से भी जोड़ती है। विश्वविद्यालय में अनुभवी शिक्षक, अनुशासित वातावरण और उच्च गुणवत्ता की शिक्षा दी जाती है। यह एक सुनहरा अवसर है उन विद्यार्थियों के लिए जो शिक्षा के साथ-साथ संस्कृति और आध्यात्मिक विकास को भी महत्व देते हैं। Uttar Pradesh Government द्वारा मान्यता प्राप्त यह संस्थान आज के युवाओं के लिए आदर्श शैक्षणिक केंद्र बन रहा है। इच्छुक छात्र ऑनलाइन माध्यम से आवेदन कर सकते हैं। अधिक जानकारी के लिए विश्वविद्यालय की आधिकारिक वेबसाइट अवश्य देखें। सीमित सीटें हैं, अतः शीघ्र आवेदन करें और अपने उज्ज्वल भविष्य की ओर कदम बढ़ाएं।

उत्तर प्रदेश के अयोध्या में महर्षि महेश योगी रामायण विश्वविद्यालय लगभग तैयार हो चुका है और जुलाई  2025 में खुलने की संभा...
03/06/2025

उत्तर प्रदेश के अयोध्या में महर्षि महेश योगी रामायण विश्वविद्यालय लगभग तैयार हो चुका है और जुलाई 2025 में खुलने की संभावना है।

🏫 एनएच 27 पर स्थित 21 एकड़ में फैला यह परिसर ₹500 करोड़ की लागत से बना है। यह रामायण अध्ययन के लिए समर्पित दुनिया का पहला विश्वविद्यालय होगा।

इस परिसर में रामायण पात्रों के नाम पर बने 12 चार मंज़िला भवन शामिल हैं।

यहाँ पारंपरिक ज्ञान और आधुनिक शिक्षा का अद्भुत संगम होगा – जिसमें यूजी, पीजी और पीएचडी कार्यक्रम शामिल हैं।

यह विश्वविद्यालय परम पूज्य महर्षि महेश योगी जी के दिव्य दृष्टिकोण का साकार रूप है, जो प्राचीन ज्ञान को आज की दुनिया तक लाएगा।

#रामायणविश्वविद्यालय #अयोध्या #रामायणस्टडीज #महर्षिमहेशयोगी #शिक्षा #रामायणयूनिवर्सिटी

16/05/2025

You can't fail when you:

1. Take daily action
2. Track your progress
3. Look back to analyze
4. Recognize the mistakes
5. Write areas to improve
6. Keep looking forward

The past is only a lesson.

🎉 सभी छात्रों को Bihar Board 12th Result 2025 के लिए ढेरों शुभकामनाएँ! 🌟📚 आपकी मेहनत रंग लाए और आपको शानदार सफलता मिले। ...
25/03/2025

🎉 सभी छात्रों को Bihar Board 12th Result 2025 के लिए ढेरों शुभकामनाएँ! 🌟📚 आपकी मेहनत रंग लाए और आपको शानदार सफलता मिले।



💯 बेस्ट ऑफ लक! 🍀

🔗 रिजल्ट चेक करने से जुड़ी सभी अपडेट्स यहाँ देखें:

Tech Ritesh Insight – A portal managed by Ritesh Bhanu, delivering the latest Hindi news, breaking updates, and tech insights. Stay informed with

08/03/2025

"नारी ही शक्ति है, नारी ही सृजन है!" 💐✨

एक महिला ही किसी की ज़िंदगी को खूबसूरत बना सकती है,
अपने प्रेम, समर्पण और शक्ति से उसे सँवार सकती है।
और वही महिला चाहे तो किसी की दुनिया बदसूरत भी बना सकती है,
अपने क्रोध, उपेक्षा और दूरी से उसे उजाड़ सकती है।

👉 सम्मान करें, सशक्त बनाएँ, हर नारी का मान बढ़ाएँ!

💜 महिला दिवस की हार्दिक शुभकामनाएँ! 💜

01/03/2025

📍 अयोध्या की पावन भूमि पर शिक्षा का नया केंद्र : महर्षि रामायण विश्वविद्यालय

सत्र 2025-26 के लिए प्रवेश जल्द शुरू होने जा रहे हैं!

🎯 UG, PG और डिप्लोमा कार्यक्रम

✅ वैदिक शिक्षा और आधुनिक पाठ्यक्रम का अद्भुत समावेश
✅ अनुभवी फैकल्टी
✅ शोध और नवाचार पर विशेष ध्यान

📍 अयोध्या से ज्ञान का प्रकाश अब पूरे विश्व तक!

🌐 अधिक जानकारी के लिए विजिट करें: www.mmyrv.edu.in

06/02/2025

क्षीरसागर में भगवान विष्णु शेष शैया पर विश्राम कर रहे हैं और लक्ष्मी जी उनके पैर दबा रही हैं। विष्णु जी के एक पैर का अंगूठा शैया के बाहर आ गया और लहरें उससे खिलवाड़ करने लगीं।

क्षीरसागर के एक कछुवे ने इस दृश्य को देखा और मन में यह विचार कर कि मैं यदि भगवान विष्णु के अंगूठे को अपनी जिव्ह्या से स्पर्श कर लूँ तो मेरा मोक्ष हो जायेगा उनकी ओर बढ़ा।

उसे भगवान विष्णु की ओर आते हुये शेषनाग जी ने देख लिया और कछुवे को भगाने के लिये जोर से फुँफकारा। फुँफकार सुन कर कछुवा भगकर छुप गया।

कुछ समय पश्चात् जब शेष जी का ध्यान हट गया तो उसने पुनः प्रयास किया। इस बार लक्ष्मी देवी की दृष्टि उस पर पड़ गई और उन्होंने उसे भगा दिया।

इस प्रकार उस कछुवे ने अनेकों प्रयास किये पर शेष जी और लक्ष्मी माता के कारण उसे कभी सफलता नहीं मिली। यहाँ तक कि सृष्टि की रचना हो गई और सत्युग बीत जाने के बाद त्रेता युग आ गया।

इस मध्य उस कछुवे ने अनेक बार अनेक योनियों में जन्म लिया और प्रत्येक जन्म में भगवान की प्राप्ति का प्रयत्न करता रहा। अपने तपोबल से उसने दिव्य दृष्टि को प्राप्त कर लिया था।

कछुवे को पता था कि त्रेता युग में वही क्षीरसागर में शयन करने वाले विष्णु राम का, वही शेष जी लक्ष्मण का और वही लक्ष्मी देवी सीता के रूप में अवतरित होंगे तथा वनवास के समय उन्हें गंगा पार उतरने की आवश्यकता पड़ेगी। इसीलिये वह भी केवट बनकर वहाँ आ गया था।

एक युग से भी अधिक काल तक तपस्या करने के कारण उसने प्रभु के सारे मर्म जान लिये थे इसीलिये उसने राम से कहा था कि मैं आपका मर्म जानता हूँ।

संत श्री तुलसी दास जी भी इस तथ्य को जानते थे इसलिये अपनी चौपाई में केवट के मुख से कहलवाया है कि...

“कहहि तुम्हार मरमु मैं जाना”।

केवल इतना ही नहीं, इस बार केवट इस अवसर को किसी भी प्रकार हाथ से जाने नहीं देना चाहता था। उसे याद था कि शेषनाग क्रोध करके फुँफकारते थे और मैं डर जाता था।

अबकी बार वे लक्ष्मण के रूप में मुझ पर अपना बाण भी चला सकते हैं पर इस बार उसने अपने भय को त्याग दिया था, लक्ष्मण के तीर से मर जाना उसे स्वीकार था पर इस अवसर को खो देना नहीं।

इसीलिये विद्वान संत श्री तुलसी दास जी ने लिखा है -

( हे नाथ ! मैं चरणकमल धोकर आप लोगों को नाव पर चढ़ा लूँगा; मैं आपसे उतराई भी नहीं चाहता। हे राम ! मुझे आपकी दुहाई और दशरथ जी की सौगंध है, मैं आपसे बिल्कुल सच कह रहा हूँ। भले ही लक्ष्मण जी मुझे तीर मार दें, पर जब तक मैं आपके पैरों को पखार नहीं लूँगा, तब तक हे तुलसीदास के नाथ ! हे कृपालु ! मैं पार नहीं उतारूँगा। )

तुलसीदास जी आगे और लिखते हैं -

केवट के प्रेम से लपेटे हुये अटपटे वचन को सुन कर करुणा के धाम श्री रामचन्द्र जी जानकी जी और लक्ष्मण जी की ओर देख कर हँसे। जैसे वे उनसे पूछ रहे हैं कहो अब क्या करूँ, उस समय तो केवल अँगूठे को स्पर्श करना चाहता था और तुम लोग इसे भगा देते थे पर अब तो यह दोनों पैर माँग रहा है।

केवट बहुत चतुर था। उसने अपने साथ ही साथ अपने परिवार और पितरों को भी मोक्ष प्रदान करवा दिया।

तुलसी दास जी लिखते हैं -.

चरणों को धोकर पूरे परिवार सहित उस चरणामृत का पान करके उसी जल से पितरों का तर्पण करके अपने पितरों को भवसागर से पार कर फिर आनन्दपूर्वक प्रभु श्री रामचन्द्र को गंगा के पार ले गया।
उस समय का प्रसंग है ... जब केवट भगवान् के चरण धो रहे हैं।

बड़ा प्यारा दृश्य है, भगवान् का एक पैर धोकर उसे निकलकर कठौती से बाहर रख देते हैं, और जब दूसरा धोने लगते हैं,

तो पहला वाला पैर गीला होने से जमीन पर रखने से धूल भरा हो जाता है,

केवट दूसरा पैर बाहर रखते है, फिर पहले वाले को धोते है, एक-एक पैर को सात-सात बार धोते हैं।

फिर ये सब देखकर कहते हैं, प्रभु एक पैर कठौती मे रखिये दूसरा मेरे हाथ पर रखिये, ताकि मैला ना हो ।

जब भगवान् ऐसा ही करते हैं। तो जरा सोचिये ... क्या स्थिति होगी , यदि एक पैर कठौती में है दूसरा केवट के हाथो में,

भगवान् दोनों पैरों से खड़े नहीं हो पाते बोले - केवट मै गिर जाऊँगा ?

केवट बोला - चिंता क्यों करते हो भगवन् !.
दोनों हाथो को मेरे सिर पर रख कर खड़े हो जाईये, फिर नहीं गिरेगें ,

जैसे कोई छोटा बच्चा है जब उसकी माँ उसे स्नान कराती है तो बच्चा माँ के सिर पर हाथ रखकर खड़ा हो जाता है, भगवान् भी आज वैसे ही खड़े हैं।

भगवान् केवट से बोले - भईया केवट ! मेरे अंदर का अभिमान आज टूट गया...

केवट बोला - प्रभु ! क्या कह रहे हैं ?.

भगवान् बोले - सच कह रहा हूँ केवट, अभी तक मेरे अंदर अभिमान था, कि मैं भक्तों को गिरने से बचाता हूँ पर..

आज पता चला कि, भक्त भी भगवान् को गिरने से बचाता है।

जय रघुनंदन “ जय श्री राम ” 🙏

अपने खिलाफ बातें ख़ामोशी से सुनिए, यकीन मानिए वक़्त बेहतरीन जवाब देगा।
01/02/2025

अपने खिलाफ बातें ख़ामोशी से सुनिए, यकीन मानिए वक़्त बेहतरीन जवाब देगा।

Address

Patna

Alerts

Be the first to know and let us send you an email when Ritesh Kumar Bhanu posts news and promotions. Your email address will not be used for any other purpose, and you can unsubscribe at any time.

Contact The Business

Send a message to Ritesh Kumar Bhanu:

Share