
09/06/2025
वो जिले जहां जहां मेव मेंवाती आबाद है-
राजस्थान:-
1.अलवर
2.खैरथल-तिजारा
2.डीग
3.जयपुर
4.टोंक
5.कोटा
6.बारा
7.पाली
8.जोधपुर
9.राजसमंद
10.झालावाड
11.भीलवाडा
12.चित्तोडगढ
13.उदयपुर
14.प्रतापगढ
15.सीकर
16.बिकानेर
17.जालोर
18.नागोर
19.अजमेर
20.बूंदी
21. दोसा
22.झुन्झुनु
23.सिरोही
महाराष्ट्र-
24.ओरंगाबाद
25.जलगाव
26. जालना
27.ठाणे
28.मुंबई
29.नागपुर
30.परभनी
उत्तराखंड-
31.नैनीताल
32.उधम सिंह नगर
हरियाणा-
33.नूंह
34. पलवल
35.फरीदाबाद
36. गुड़गांव/गुरूग्राम
मध्य प्रदेश-
37.भोपाल
38.रायसेन
39.राजगढ
40.सीहोर
41.शिवपुरी
42.विदिशा
43.मुरैना
44.श्योपुर
45.ग्वालियर
46.इंदोर
47.धार
48.खंडवा
49.नरसिंहपुर
50.आगार मालवा
51.देवास
52.मंदसोर
53.नीमच
54.रतलाम
55.शाजापुर
56.उज्जैन
57.गुना
58.दतिया
गुजरात-
59.आहमदाबाद
60.भरूच
61.सूरत
62.छोटा उदेपुर
बिहार -
63.सासाराम (रोहतास)
दिल्ली-
64.साउथ दिल्ली -साकेत
65. शाहदरा
66.ईस्ट दिल्ली -शास्त्री नगर
उत्तर प्रदेश-
67.बुंलदशहर
68.बरेली
69.आलीगढ
70.मेरठ
71.रामपुर
72.मथुरा
73. पीलीभीत
74.मुरादाबाद
75.एटा
76.लखीमपुर खेरी
77.बदायू
78.आगरा
79.मुजफ्फरनगर
80.इटावा
81.शाहजहानपुर
82.लखनऊ
83.बिजनोर
84.रायबरेली
85.उन्नाव
86.बाराबंकी
87.फर्रूखाबाद
88.सुल्तानपुर
89. फैजाबाद
90.हाथरस
91.कासगंज
92.इलाहाबाद
93.गोंडा
94.अमेठी
95.ओंरैया
96.कानपुर
97.गाजियाबाद
98.गोतमबुद्धनगर
99.हापुड़
100.अमरोहा
101.संभल
102.सीतापुर
103.महोबा
104.बहराइच
105.फतेहपुर
106.फिरोजाबाद
107.गाजीपुर
108.झांसी
109.कन्नौज
110.प्रतापगढ
इन सभी जिलों के मेव लोग मेवात इलाका से बाबर, बलबन ,अकबर ,शाहजहां से मेवों की मुठभेड़ और 1857 के गदर के दौरान मेवात से पलायन कर गए थे.
इनके अलावा आज के वो जिले जिनमें मुल्क तक्सीम 1947 से पहले मेव मेवाती आबाद थे-
1. फिरोजपुर
2.मोगा
3.फाजिल्का
4.मुक्तसर
5.जालंधर
6.नवांशहर
7.रुपनगर
8.तरनतारन
9.पटियाला
10.मोहाली
11.गुरदासपुर
12.करनाल
13.पानीपत
14.अंबाला
15. कुरुक्षेत्र
16.भिवानी
17..हिसार
18.फतेहाबाद
19.रेवाडी
पंजाब , हरियाणा के इन 19 जिलों में उस वक्त मेव के 55 के करीब गांव थे और कुछ लोग शहरों में भी आबाद थे जिनकी आबादी पूरी तरह से खाली हो कर 1947 में दूसरी तरफ चली गई इनमें से 2 गांव के लोग 1947 के दंगों में मारे गए थे. इन जिलों में जितने भी मेव थे यह सभी लोग मेवात से 17 वी सदी और 1857 में हिजरत कर गए थे
इनके अलावा मुल्क तक्सीम 1947 से पहले ही डेरा गाजी खान ,राजनपुर , जामपुर में मेव के 13 गांव थे. जो मेवात से सोलहवीं, 17वी सदी और 1857 में मेवात से हिजरत कर गए थे.
लायलपुर जिला के टोबा टेक सिंह और सामुन्दरी तहसील में मेव लोगों की तक्सीम से पहले ही जमीने थी बहुत से मेव लोग मुल्क तक्सीम से पहले ही यहां आबाद हो गए थे.
इसके बाद 1947 में मेवात इलाका पर क्यामत टुट पडी थी. ज़ुल्म सितम की वजह से गुडगांव, अलवर, भरतपुर ,पलवल, फरीदाबाद, रेवाड़ी, मथुरा,नूंह , दिल्ली से लाखों की तादाद में मेव मेवाती पाकिस्तान चले गए थे. दिल्ली देहात में मेवों के 10 गांव की आबादी भी पूरी तरह खाली हो गई थी।