28/07/2025
छिंदवाड़ा के हर्रई में आज एक दिल को छू लेने वाली घटना घटी।
एक किसान की बैलगाड़ी तेज बहाव वाली नदी में बहने लगी।
गाड़ी से उसके प्रिय बैल बंधे थे, जो सिर्फ पशु नहीं, उसके परिवार का हिस्सा हैं।
बैलों को डूबता देख किसान ने न सोचा, न डरा सीधा उफनती नदी में छलांग लगा दी। जान की बाज़ी लगाकर अपने साथी को बचा लाया।
ये बस हिम्मत नहीं थी —
ये उस रिश्ते की भावना थी, जो किसान की माटी, मेहनत और उसके पशु से जुड़ी होती है।
ऐसे अन्नदाता को मेरा शत-शत प्रणाम 🙏
“वो हल चलाता है, मगर देश की नींव हिला सकता है, वो किसान है, ज़रूरत पड़े तो आसमान झुका सकता है।” “