01/12/2023
2023 का विधानसभा चुनाव इस बार जनता के मुद्दों पर ना होते हुए फ्री की रेवड़ी और मैनेजमेंट सिस्टम पर हुआ
इस चुनाव में अहम भूमिका किसने निभाई कांग्रेस और बीजेपी किन मोर्चा पर सफल और असफल रही इसका पूरा ब्योरा और आंखों देखा हाल मैं आपको बताता हूं.......
पहले हम भाजपा की बात कर लेते हैं भाजपा हर चुनाव को बड़ी गंभीरता के साथ लड़ती है चाहे वह सोशल मीडिया हो जनता के बीच में जाना हो मुद्दों की बात हो कांग्रेस को हर मोर्चे पर घेरने की बात हो या फिर उनके नेताओं द्वारा बयान बाजी को लेकर हमेशा तटस्थ रहना यह भाजपा की एक बड़ी खूबी है साथ ही मीडिया मैनेजमेंट के मामले में भाजपा दो कदम आगे रहती है
वही हम कांग्रेस की बात करें तो कांग्रेस सिर्फ एक नेता के इर्द-गिर ही घूमती रहती है जनता के मुद्दों की बात हो चाहे उनके वचन पत्र की बात हो वह लोगों तक अपनी बात नहीं पहुंच पाते उनका मीडिया मैनेजमेंट बिल्कुल फेल नजर आता है ना तो कंटेंट की बात होती है ना ही मुद्दों की बात होती है और ना ही औऱ उन्हें यह भी नही पता किस तरह से हमको मीडिया के माध्यम से जनता तक अपनी बात पहुंचानी है..... यह वहां बैठे हुए लोगों को नहीं आता वहां सिर्फ एक ही हिसाब से कम होता है अंधा बांटे रेवड़ी और चीन चीन के देय..... यह वाली कहावत कांग्रेस के पर लागू होती है जिसका खामियाजा उसको इस चुनाव में देखने को भी मिलेगा हाल ही में चैनल को एग्जिट पोल आना शुरू हो गए हैं जिसमें कुछ चैनल या सोशल मीडिया के माध्यम से कहीं कांग्रेस तो कहीं भाजपा की सरकार बनाते हुए देख रहे हैं लेकिन मामला इसकी उलट है पूर्ण बहुमत किसी को मिलने के आसार नहीं है यह मामला थोड़ा पेचीदा है क्योंकि चुनाव पूरा मैनेजमेंट पर लड़ा गया और इसमें कहीं ना कहीं भाजपा बाजी मारते हुए नजर आ रही है क्योंकि सत्ता में रहते हुए उन्होंने सबसे पहले अपने संगठन पर जोर दिया संगठन को मजबूत किया कार्यकर्ताओं को मजबूत किया और एक तबके को भाजपा ने अपने पाले में ले लिया।
क्योंकि परिवर्तन की लहर थी और कांग्रेस इस मुगालते में बैठी रही की जनता कांग्रेस को वोट करेगी.... लेकिन हर बार छीका नहीं फूटता साहब.....
अभी एक बात और सामने आ रही है जितने भी एग्जिट पोल अभी तक जारी हुए हैं उनमें यह कहा जा रहा है की.....
भाजपा ने जिन्हें बड़ा पैकेज दिया था उसमें भाजपा जीत रही है ,जिनको कांग्रेस ने बड़ा पैकेज दिया था उसमें कांग्रेस जीत रही है ...
लेकिन कहानी अभी बाकी है मेरे दोस्त.......
इस बार के चुनाव नतीजे बड़े ही चौंकाने वाले होंगे जिसमें लग रहा होगा कि यह हार जाएंगे तो वह जीत भी सकते हैं और जिनको लग रहा है कि यह जीत सकते हैं वह हर भी सकते हैं यह सब मैनेजमेंट गुरु का कमाल है बाकी 3 दिसंबर को देखा जाएगा कि किसका पलड़ा भारी रहता है कांग्रेस या बीजेपी......
आने वाले दिनों में हम यानि प्रशांत श्रीवास्तव ....एक-एक पहलू पर बात करेंगे कि कांग्रेस और बीजेपी में किसकी क्या भूमिका रही और किसने किया अपनी भूमिका निभाई पार्टी को जिताने में और पार्टी को हराने में सारे पहलुओं पर हर दिन एक नया आर्टिकल आपके सामने होगा जिसमें आप यह तय करेंगे की किस पार्टी को जिताने में किसकी क्या भूमिका रही