24/10/2025
छपरा के वरिष्ठ अधिवक्ता और विधि मंडल के पूर्व अध्यक्ष वीरेन्द्र नारायण
सिंह का निधन, कानूनी और सामाजिक जगत में शोक की लहर
छपरा।
एकमा प्रखंड के हंसराजपुर के मूल निवासी तथा छपरा के वरिष्ठ अधिवक्ता व विधि मंडल के पूर्व अध्यक्ष रहे वीरेन्द्र नारायण सिंह का 93 वर्ष की आयु में निधन हो गया। उन्होंने पटना में इलाज के दौरान अंतिम सांस ली। वे लंबे समय से अस्वस्थ चल रहे थे। उनके निधन की खबर मिलते ही न केवल
कानूनी जगत, बल्कि सामाजिक और शैक्षणिक क्षेत्र से जुड़े लोगों में शोक की लहर फैल गई।
वीरेन्द्र नारायण सिंह उत्तर बिहार के प्रख्यात क्रिमिनल वकील के रूप में
जाने जाते थे। उन्होंने 50 वर्ष से अधिक समय तक वकालत के क्षेत्र में
सक्रिय रहते हुए अपनी विशेष पहचान बनाई। छपरा सिविल कोर्ट में उनका गहरा प्रभाव और सम्मान था। वे अपनी निपुणता, सादगी और न्यायप्रियता के लिए जाने जाते थे। लंबे कानूनी सफर के बाद उन्होंने स्वेच्छा से वकालत से निवृति ले ली थी। समाज और न्याय व्यवस्था में उनके योगदान के लिए उन्हें कई
संस्थानों द्वारा सम्मानित किया गया।
उनका जन्म 15 नवंबर 1934 को सारण जिले के एकमा प्रखंड के हंसराजपुर गांव में हुआ था। वे न्यायाधीश राजकिशोर सिंह के पुत्र और प्रसिद्ध शिक्षाविद्
अलख नारायण सिंह के पौत्र थे। अलख नारायण सिंह के दान की गई जमीन पर आज अलख नारायण सिंह प्लस टू स्कूल, एकमा संचालित है, जो क्षेत्र में शिक्षा का केंद्र माना जाता है।
वीरेन्द्र नारायण सिंह का झुकाव आध्यात्मिकता की ओर भी रहा। वे लंबे समय से रामकृष्ण मिशन आश्रम से जुड़े हुए थे और आश्रम की सेवा व विकास में उनका महत्वपूर्ण योगदान रहा। ट्रस्ट द्वारा उन्हें कई बार सम्मानित भी किया गया। श्री सिंह को विभिन्न संस्थानों से सारण रत्न सम्मान मिला है। वे निर्धनों की मदद करने और समाज में सकारात्मक बदलाव लाने के लिए हमेशा सक्रिय रहते थे। पुस्तकालय निर्माण, शैक्षणिक सहयोग और गरीब विद्यार्थियों की सहायता में उनकी भूमिका अत्यंत सराहनीय रही।
उनके परिवार में पत्नी राजेश्वरी देवी, एक पुत्र और चार पुत्रियां हैं।
पुत्र डॉ. आलोक सिंह ब्रिटेन में प्रसिद्ध अर्थोपेडिक सर्जन हैं। बड़ी
पुत्री डॉ. अंशु सिंह, उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री टी.एन. सिंह की
बहू हैं। दूसरी पुत्री डॉ. अंजू सिंह सिंगरामऊ स्टेट की बहुरानी हैं।
तीसरी पुत्री डॉ. अल्का सिंह, न्यायाधीश अनंत विजय सिंह की पत्नी हैं,
जबकि चौथी पुत्री डॉ आभा सिंह हैं। उनके पौत्र भी बहुत करीब थे।
उनके निधन पर वरिष्ठ पत्रकार राकेश सिंह, ब्यूरो चीफ अमन सिंह, डॉ. अमरेन्द्र सिन्हा, पीपी वीरेन्द्र ओझा, डॉ. श्याम प्रसाद, डॉ. आर.आर. सहाय, अधिवक्ता अमरेन्द्र सिंह, राजीव कुमार सिंह, और सिवान स्थायी लोक अदालत के मेंबर रमेश प्रसाद सिंह सहित अनेक बुद्धिजीवियों ने गहरी शोक संवेदना व्यक्त की है। उनके निधन से छपरा जिले ने एक कर्मठ अधिवक्ता,
समाजसेवी और शिक्षाप्रेमी व्यक्तित्व को खो दिया है।