27/10/2025
💝💘💖"सौन्दर्य की देवी-सी तुम,
अधरों पर लिये तबस्सुम,
खिले कमल की आभा तुम,
प्राणों में समा लेने की अभीप्सा तुम,
सौन्दर्य की देवी-सी तुम;
जग के हृदय की साम्राज्ञी तुम,
इंद्रधनुषी यौवन की अँगड़ाई तुम,
प्रेम और रूमानियत की परिभाषा तुम,
सौन्दर्य की देवी-सी तुम;
मृगशावकों की कुलाँचें तुम,
वीणा की तान तुम,
बाँसुरी की मधुर गान तुम,
सौन्दर्य की देवी-सी तुम;
सबके दिल का राग तुम,
हर दिल की आस तुम,
मेरे प्राणों की गुंजार तुम,
सौन्दर्य की देवी-सी तुम..."💖💘💝
- रूपेश/आनंद भैरव/The Bharat