
13/09/2024
**: "राधा रानी की महिमा"**
राधा रानी का रूप सुहाना,
मधुर मुस्कान और रूप सलोना।
कानों में गूँजे मुरली की धुन,
प्रेम की देवी, प्रियतम की धरोहर।
सज्जित फूलों के हार से शोभा,
माथे पर तिलक और मोरपंखी शोला।
प्रेम की मूरत, सजीव कहानी,
श्रीकृष्ण की प्रियतमा, वो राधा रानी।
भक्तों के मन में बसने वाली,
करुणा और प्रेम की गहराई।
दर्शन मात्र से दूर हो जाएं,
संसार के सब दुख और कष्ट भारी।
प्रेम की परिभाषा, भक्ति का आधार,
राधा रानी हैं, प्रेम की साकार।
चरणों में उनके, मिले शांति अपार,
जय हो राधा रानी, करूं बारम्बार।
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