21/10/2025
जिसने अपना बुरा वक्त अकेले काटा हो, उसे जिंदगी में किसी के आने या चले जाने से कोई फ़र्क नहीं पड़़ता 😲
आरव की आँखों में नींद नहीं थी। बालकनी में बैठा वो ठंडी हवा में सिगरेट का आखिरी कश लेकर सोच रहा था —
“कितना बदल गया हूँ मैं…”
कभी वही आरव था जो किसी को मैसेज का रिप्लाई न मिले तो बेचैन हो जाता था, कॉल का इंतज़ार करता था, दोस्तों की छोटी-छोटी बातों पर दिल लगा लेता था।
लेकिन आज… अब किसी का आना, जाना, बात करना, न करना — कुछ मायने नहीं रखता।
तीन साल पहले की बात थी…
जब सबकुछ उसके खिलाफ हो गया था। नौकरी चली गई, करीबी दोस्त गायब हो गए, और जिसे वो सबसे ज्यादा चाहता था, वही कह गई —
“तुम्हारे पास कुछ नहीं बचा, मैं और नहीं रह सकती तुम्हारे साथ।”
उस दिन आरव टूटा नहीं था, बस अंदर से मर गया था।
लेकिन उसने किसी से शिकायत नहीं की।
हर सुबह खुद को आईने में देखकर बस एक बात कहता —
“या तो हार मान ले, या खुद को इतना मजबूत बना कि दर्द भी तुझे सलाम करे।”
धीरे-धीरे उसने खुद पर काम करना शुरू किया।
न कोई मददगार था, न कोई सहारा।
बस अकेलापन था — और वही उसका सबसे बड़ा शिक्षक बन गया।
आज आरव फिर से खड़ा है। अपनी कंपनी चलाता है, लोगों की मदद करता है, मुस्कुराता है — लेकिन अब उसका दिल वैसा नहीं रहा।
अब अगर कोई साथ हो तो अच्छा लगता है,
पर अगर कोई चला जाए… तो फर्क नहीं पड़ता।
क्योंकि जिसने अपना बुरा वक्त अकेले काटा हो,
वो अब किसी का मोहताज नहीं रहता।
वो जानता है —
ज़िंदगी में सबसे सच्चा रिश्ता वही है, जो तुम्हारा तुम्हारे साथ हो।
ज़िंदगी का सबसे बड़ा सबक यही है —
जब तुम अपने सबसे बुरे वक्त में खुद का साथ देना सीख जाते हो,
तो दुनिया का कोई भी दर्द तुम्हें तोड़ नहीं सकता।
क्योंकि मजबूती किसी किताब से नहीं, अकेलेपन से पैदा होती है।
अगर तुमने भी अपना बुरा वक्त अकेले झेला है,
तो शेयर करो —
क्योंकि तुम्हारी कहानी किसी और को मजबूत बनने की हिम्मत दे सकती है 💪🔥