29/04/2024
कांग्रेस इतनी शक्तिशाली थी कि उन्होंने अपनी शक्ति की परवाह किए बिना अपने रास्ते में आने वाले सभी लोगों को खत्म कर दिया।
मैं आपको तीन पुरानी घटनाएं याद दिला दूं।घटनाएं जैसी घटित हुईं, वैसा ही लिखी जा रही है।
1. ज्ञानी जैल सिंह पूर्व राष्ट्रपति थे। उन्हें Z सुरक्षा मिली हुई थी। उन्होंने दिल्ली में घोषणा की - "कल चंडीगढ़ पहुंचकर......मैं बोफोर्स के सारे राज खोलने वाला हूं।" ......तो हुआ यह कि.....दिल्ली-चंडीगढ़ रोड पर एक ट्रक......सामने से दहाड़ता हुआ आया और जैल सिंह की कार को कुचल दिया। उनकी वहीं मौत हो गई। कोई जांच नहीं हुई।
2. राजेश पायलट ने कांग्रेस नेता की सलाह नहीं मानी। उन्होंने घोषणा की - "कल......मैं कांग्रेस अध्यक्ष पद के लिए नामांकन दाखिल करूंगा।" और फिर क्या हुआ,......सामने से एक बस आई और......उनकी कार को कुचल दिया। ......वहीं मर गये। कोई जांच नहीं हुई।
इन दोनों घटनाओं में कार्यप्रणाली एक जैसी थी। तीसरी घटना में कार्यप्रणाली अलग थी।
3. श्रीमंत माधवराव शिंदे (सिंधिया) उस लोकसभा चुनाव से पहले कांग्रेस के सबसे लोकप्रिय और कर्मठ नेता थे। वे लगातार नौवीं बार लोकसभा के लिए चुने गए और लोकसभा में विपक्ष के नेता भी थे। कांग्रेस नेता ने उत्तर प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष से कहा - "मैं प्रचार करने आ रहा हूँ!" प्रदेश अध्यक्ष निडर थे। उन्होंने कहा - "आप मत आइए। माधवराव जी को भेजिए। वही वोट दिला सकते हैं।" और फिर क्या हुआ। माधवराव जी से कहा गया कि वे अपने निजी विमान से नहीं बल्कि इसी विमान से जाएंगे। एक प्रत्यक्षदर्शी किसान ने बयान दिया - "पहले विमान में बम फटा, फिर आग लग गई"। विमान में सवार सभी आठ लोग मारे गए लेकिन कोई जांच नहीं हुई। थोड़े समय बाद कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष भी मृत पाए गए। (डॉ ईश्वर चंद्र करकरे की कलम से साभार)*एइसी तरह 1965 के युद्ध के विजेता प्रधानमंत्री श्री लाल बहादुर शास्त्री जी...डॉ होमी जहांगीर भाभा...के साथ-साथ 2500 से अधिक इसरो और DRDO के वैज्ञानिक और शीर्ष इंजीनियर बेहद संदिग्ध परिस्थितियों में मारे गए...कोई जांच नहीं हुई...2014 में भाजपा के सत्ता में आने के बाद स्थिति नियंत्रण में आई...*
👉राजीव गांधी ने अपने जीवनकाल में कुल 181 रैलियों को संबोधित किया था। जिसमें से 180 में सोनिया गांधी भी उनके साथ थीं, बस उस दिन उनके साथ नहीं थीं, जब राजीव गांधी के जीवन की आखिरी रैली हुई थी।*
👉राजीव गांधी की हत्या के समय 14 लोगों की भी मौत हुई थी। लेकिन दिलचस्प बात ये है कि इन 14 लोगों में एक भी कांग्रेस का नेता नहीं था, जो भी मरे वो आम लोग थे। क्या ये संभव है कि देश के प्रधानमंत्री की रैली में उनके साथ एक भी बड़ा कांग्रेस नेता न हो?*
👉राजीव गांधी के साथ कांग्रेस का कोई भी बड़ा या छोटा नेता नहीं मरा, न ही सोनिया गांधी जो हर मीटिंग में राजीव गांधी के साथ होती थीं। उस दिन वो सिरदर्द के कारण होटल में रुकी थीं, ये आधिकारिक बयान है।
👉तो क्या सबको पता था कि क्या होने वाला है और इस तरह पूरी कांग्रेस विदेशियों के हाथों हाईजैक हो गई।
👉बाद में प्रियंका गांधी ने खुद कोर्ट में अपने पिता के हत्यारे को माफ करने की अपील की।*
👉जब से इटली की मैडम इस परिवार की बहू बनकर आई हैं, तब से अब तक इस गांधी परिवार में एक भी व्यक्ति को प्राकृतिक मृत्यु का सौभाग्य नहीं मिला है, सभी की अप्राकृतिक मृत्यु हुई है।
👉इंदिरा गांधी के बेटे संजय गांधी के ससुर कर्नल आनंद अपने ही फार्म हाउस से थोड़ी दूरी पर गोली लगने से मृत पाए गए।
👉संजय गांधी की मृत्यु तब हुई जब उनका विमान दुर्घटनाग्रस्त हो गया था। इंदिरा गांधी की हत्या उनके ही अंगरक्षकों ने गोली मारकर कर दी थी*
👉राजीव गांधी को बम से उड़ा दिया जाता है।
👉प्रियंका गांधी के ससुर राजेंद्र वाड्रा दिल्ली के एक गेस्ट हाउस में मृत पाए जाते हैं। प्रियंका गांधी की ननद जयपुर-दिल्ली हाईवे पर कार दुर्घटना में मारी जाती है। प्रियंका गांधी के देवर मुरादाबाद के एक होटल में मृत पाए जाते हैं।
हम खुद देख सकते हैं, केरल में नंबी नारायण को जेल भेजा जाना, गोधरा और मालेगांव की घटनाओं में हिंदुओं को फंसाया जाना और पाकिस्तानी आतंकवादियों को रिहा किया जाना..., हिंदू आतंकवाद शब्द गढ़ा जाना,... करोड़ों-अरबों के घोटाले, ...देश को कमजोर करना, .... गोला-बारूद का आपातकालीन स्टॉक 40 से घटाकर 7 दिन करना, .सेना को गोला-बारूद न देना, बुलेट प्रूफ जैकेट न देना, लड़ाकू विमान न खरीदना, कश्मीर से हिन्दू पंडितों को निकालना, .....26/11 के लिए पाकिस्तान के खिलाफ कार्रवाई करने से इनकार करना, .....चीनी राजदूत से मिलना
*और सबसे दिलचस्प बात ये है कि संसद पर हमले के दिन सोनिया-राहुल गांधी संसद नहीं गए।*