पुस्तकों की गुल्लक

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05/07/2025
29/06/2025

📚 सिर्फ प्यार नहीं, समझ भी ज़रूरी है ❤️🧠

रिश्ते सिर्फ "I Love You" से नहीं चलते... उन्हें हर दिन "I'm with you" साबित करना पड़ता है।
‘सिर्फ दिल नहीं, समझ भी चाहिए’ एक ऐसी किताब है जो लव मैरिज, रिलेशनशिप्स और शादी के बाद की सच्चाइयों को गहराई से समझाती है।

अगर आप प्यार में हैं, शादी की सोच रहे हैं या रिश्तों को लेकर कभी उलझन में रहे हैं — ये किताब आपकी सोच बदल सकती है।

🎯 Must read for:
Love Marriage Couples | Relationship Seekers | Self-Help Readers | Married People

📖 Book: सिर्फ दिल नहीं, समझ भी चाहिए
✍️ Author: Pratik G B Kalal
🏷️ Publisher: Rajmangal Prakashan

"कुछ किताबें पढ़ी नहीं जातीं, महसूस की जाती हैं।'गुनाहों का देवता' धर्मवीर भारती की कलम से निकली वो अमर कहानी है, जो प्र...
26/06/2025

"कुछ किताबें पढ़ी नहीं जातीं, महसूस की जाती हैं।

'गुनाहों का देवता' धर्मवीर भारती की कलम से निकली वो अमर कहानी है, जो प्रेम, त्याग और आत्मसंघर्ष के धागों से बुनी गई है। चंदर और सुधा के बीच अनकहे जज़्बातों की ये दास्तान न सिर्फ दिल को छूती है, बल्कि भीतर तक उतर जाती है।

हर बार पढ़ते हुए एक नया अर्थ, एक नया दर्द, और एक नई समझ साथ लेकर आती है।

यह सिर्फ एक प्रेम कहानी नहीं, बल्कि एक दौर की सच्चाई है… एक अधूरी चाहत की पूजा है।"

 #पुस्तक_समीक्षापुस्तक - सिर्फ दिल नहीं, समझ भी चाहिएलेखक - प्रतीक .pratikप्रकाशक - राजमंगल मूल्य - 279/- "रिश्ते वादों ...
25/06/2025

#पुस्तक_समीक्षा
पुस्तक - सिर्फ दिल नहीं, समझ भी चाहिए
लेखक - प्रतीक .pratik
प्रकाशक - राजमंगल
मूल्य - 279/-

"रिश्ते वादों से नहीं, हर दिन निभाए गए छोटे-छोटे लम्हों से बनते हैं।"

कुछ किताबें सलाह नहीं देतीं, बस आईना थमा देती हैं — ताकि हम खुद को और अपने रिश्तों को थोड़ी ईमानदारी से देख सकें। 'सिर्फ दिल नहीं, समझ भी चाहिए' ऐसी ही किताब है। यह किताब प्यार की मीठी बातों से शुरू होती है लेकिन वहीं नहीं रुकती — यह वहां तक जाती है जहां ज़्यादातर प्रेम कहानियां अधूरी रह जाती हैं — शादी के बाद की ज़िंदगी तक।

पढ़ते हुए महसूस होता है जैसे लेखक कोई भाषण नहीं दे रहा, बल्कि हमारे ही बीच बैठा कोई दोस्त है, जो रिश्तों की गहराइयों को बिना भारी-भरकम शब्दों के, सादगी से समझा रहा है। किताब में Care, Communication, Respect, Understanding — इन शब्दों को सिर्फ समझाया नहीं गया है, बल्कि उन्हें रोज़मर्रा के रिश्तों में कैसे जिया जाए, ये भी दिखाया गया है।

सबसे दिलचस्प बात ये लगी कि इसमें सिर्फ कपल्स के रिश्तों की बात नहीं है, बल्कि उन अदृश्य डोरियों की भी बात है जो हमें हमारे परिवार से जोड़ती हैं। खासकर लव मैरिज को लेकर पेरेंट्स की चिंता और सोच को जिस तरह समझाया गया है — वो संवेदनशील भी है और ज़रूरी भी।

यह किताब हिंग्लिश में है — एक ऐसी भाषा जो आज के पाठक के दिल के करीब है। कहीं भावनाओं की गर्माहट है, तो कहीं सच्चाई की ठंडक — और यही संतुलन इसे खास बनाता है।

यह पुस्तक उन सभी के लिए है जो रिश्तों को सिर्फ निभाना नहीं, जीना चाहते हैं। जो शादी को एक अंत नहीं, बल्कि एक नए अध्याय की शुरुआत मानते हैं। और उनके लिए भी, जो लव मैरिज करने की सोच रहे हैं, या कर चुके हैं — और अब असली दुनिया से दो-दो हाथ कर रहे हैं।

अगर आप अपने रिश्ते को थोड़ा बेहतर समझना चाहते हैं, या किसी को शादी से पहले एक काम की सलाह देनी है — तो यह किताब उनके लिए एक thoughtful gift हो सकती है।

कह सकते हैं — ये सिर्फ किताब नहीं, रिश्तों के लिए एक दर्पण है।


#समीक्षा

📖 Final Thought on Marriage 💍चाहे Love Marriage हो या Arrange Marriage, एक सफल रिश्ते की नींव इन्हीं बातों पर टिकती है:✨...
23/06/2025

📖 Final Thought on Marriage 💍
चाहे Love Marriage हो या Arrange Marriage, एक सफल रिश्ते की नींव इन्हीं बातों पर टिकती है:
✨ Communication (बातचीत)
✨ Respect (आदर)
✨ Understanding (समझदारी)
✨ Support (साथ)
✨ और सबसे ज़रूरी – Patience (धैर्य)

रिश्ता निभाना एक कला है, और ये बातें ही उसे खूबसूरत बनाती हैं। ❤️

पुस्तक - सिर्फ दिल नहीं, समझ भी चाहिए
लेखक - प्रतीक .pratik
प्रकाशक - राजमंगल
मूल्य - 279/-


"Love सिर्फ एक emotion नहीं, एक responsibility है..."प्यार सिर्फ महसूस करने की चीज़ नहीं, निभाने की भी है।एक ऐसा अहसास ज...
21/06/2025

"Love सिर्फ एक emotion नहीं, एक responsibility है..."

प्यार सिर्फ महसूस करने की चीज़ नहीं, निभाने की भी है।
एक ऐसा अहसास जो वक़्त के साथ और भी गहरा होता है — अगर उसमें समझ, संवाद और जिम्मेदारी हो।

🌿 किताबों में छुपी सच्चाइयों को महसूस कीजिए... एक पन्ना, एक विचार, एक बदलाव।

पुस्तक - सिर्फ दिल नहीं, समझ भी चाहिए
लेखक - प्रतीक .pratik
प्रकाशक - राजमंगल
मूल्य - 279/-


📖 प्यार (Love)... दिल से या समझ से?क्या सिर्फ attraction और romantic dates किसी रिश्ते को lifelong बना सकते हैं?ये सवाल ...
20/06/2025

📖 प्यार (Love)... दिल से या समझ से?
क्या सिर्फ attraction और romantic dates किसी रिश्ते को lifelong बना सकते हैं?

ये सवाल आज भी दिल और दिमाग के बीच एक जंग छेड़ देता है।

क्या आपके पास जवाब है?

💛 Highlight from the📚
पुस्तक - सिर्फ दिल नहीं, समझ भी चाहिए
लेखक - प्रतीक .pratik
प्रकाशक - राजमंगल
मूल्य - 279/-

 #पुस्तक_समीक्षा पुस्तक - आज फिर जीने की तमन्ना हैलेखक – जगबंधु मंडल प्रकाशक – Redgrab Books मूल्य - 250/- कुछ किताबें स...
17/06/2025

#पुस्तक_समीक्षा
पुस्तक - आज फिर जीने की तमन्ना है
लेखक – जगबंधु मंडल
प्रकाशक – Redgrab Books
मूल्य - 250/-

कुछ किताबें सिर्फ कहानियाँ नहीं होतीं, वो हमारी भीतर की गहराइयों को छूने आती हैं। "आज फिर जीने की तमन्ना है" उसी तरह की किताब है। यह न कोई फ़िल्मी प्रेम कहानी है, न ही कोई सपनों की दुनिया... ये कहानी है ज़िंदगी के उस कड़वे सच की, जहाँ उम्मीद एक शब्द नहीं, एक संघर्ष बन जाता है।

यह एक ऐसी लड़की की कहानी है जिसने बचपन में ही माँ को खो दिया, और ज़िंदगी ने उसे सौतेली मां के ज़रिए तकलीफ़ों का दूसरा नाम दे दिया। वह अकेली है, टूटी हुई है, और सबसे ज़्यादा – सुनी नहीं गई है। जब जीवन से सारे रास्ते बंद हो जाते हैं और नहर की गहराई ही एकमात्र राहत लगती है – तभी कहानी करवट बदलती है।

एक अजनबी आता है... वो उसे बचाता नहीं, बस उसकी सुनता है। और यहीं से शुरू होता है जीने की एक नई तमन्ना का बीज।

यह उपन्यास हमें याद दिलाता है कि ज़िंदगी में कभी-कभी किसी का “सुनना” ही सबसे बड़ी दवा होता है। कहानी में प्रेम भी है – पर वो ऐसा नहीं जिसे पाकर दो लोग एक हो जाएँ। यहाँ एकतरफा प्रेम है – जिसमें एक को सबकुछ मिलता है, और दूसरा सिर्फ ख़ालीपन के साथ जीता है।

हर पाठक की संवेदनाएँ अलग होती हैं, पर मेरे लिए कुछ हिस्सों में भावनाओं की अधिकता और गहराई की कोशिश ने कहानी की गति को थोड़ा धीमा कर दिया। कहीं-कहीं पर यह भाग थोड़े खिंचे हुए या बोरिंग भी लग सकते हैं फिर भी, लेखक की भाषा बेहद सहज और भावनात्मक है। कोई भारी भरकम शब्द नहीं, कोई ज़्यादा साज-सज्जा नहीं – बस सीधे दिल से निकली हुई बातें, जो सीधे दिल में उतर जाती हैं।

यह किताब उनके लिए है जो कभी टूटे हैं, जो कभी थके हैं,
और जो फिर से जीना चाहते हैं।

कई बार कोई किताब सिर्फ कहानियाँ नहीं कहती, वो हमें खुद से मिलवाती है। “आज फिर जीने की तमन्ना है” ऐसी ही एक किताब है। अगर आपने अब तक नहीं पढ़ी है, तो शायद यही वो वक्त है... खुद को फिर से जोड़ने का।

िर_जीने_की_तमन्ना_है #पुस्तकसमीक्षा

 #पुस्तक_समीक्षापुस्तक - ये अंत नहींलेखक - हिमांशु सिंघल प्रकाशक - मूल्य - 229/- — शब्दों की वो खामोशियाँ, जो हम सबने कभ...
12/06/2025

#पुस्तक_समीक्षा
पुस्तक - ये अंत नहीं
लेखक - हिमांशु सिंघल
प्रकाशक -
मूल्य - 229/-

— शब्दों की वो खामोशियाँ, जो हम सबने कभी न कभी महसूस की हैं।

कुछ किताबें किसी बड़े प्रचार की मोहताज नहीं होतीं, क्योंकि उनके पास कहने को बहुत कुछ होता है — चुपचाप, बिना शोर के। हिमांशु सिंघल की पहली पुस्तक "ये अंत नहीं" भी वैसी ही एक किताब है।

यह सिर्फ कविताओं का संग्रह नहीं, बल्कि मन के कोनों में जमा उन सवालों, उन भावनाओं का दस्तावेज़ है जो अक्सर हमारे साथ रहते हैं लेकिन शब्द नहीं बन पाते।

"खुला आकाश, दिखाई देता है, कभी-कभी, ज्यादा कुछ नहीं, कभी कोई, राख, नौकरी, बचपन, हमेशा से, बारिश की याद" जैसी 114 खूबसूरत रचनाओं का संग्रह आपके मन में अपनी एक अलग छप छोड़ देता है।

इन कविताओं को पढ़ते हुए ऐसा लगा मानो कोई अपना, बड़ी नर्मी से कुछ कह रहा हो — कुछ अधूरी सी बातें, कुछ पुरानी यादें, कुछ चुभते हुए सच, और थोड़ी सी उम्मीद। यहाँ कविताएँ लंबी-लंबी व्याख्याओं में नहीं उलझतीं, वो पंक्तियों में कम और एहसास में ज़्यादा होती हैं।

एक और बात जो इस किताब को ख़ास बनाती है, वो है इसकी सादगी। न कोई भारी-भरकम भाषा, न बेतुके प्रतीक। जो है, जैसा है — वही हमारे सामने है। यही वजह है कि ये कविताएँ पाठक को पढ़ने से ज़्यादा महसूस करने के लिए मजबूर करती हैं।

यह किताब बहुत कुछ कहती है बिना कहे — जैसे कोई ग़म भी बाँट रहा हो और हौसला भी दे रहा हो। यह संग्रह उन लोगों के लिए नहीं है जो कविता को केवल कलात्मक चमत्कार समझते हैं, बल्कि उनके लिए है जो शब्दों के पीछे की खामोशी को भी सुन सकते हैं।

हर कविता एक पड़ाव है — कहीं रुकने का, सोचने का और फिर आगे बढ़ने का। और अंत में जब आप किताब बंद करते हैं, तो महसूस होता है कि कुछ तो छूट गया है... शायद इसलिए क्योंकि ये अंत नहीं।

हिमांशु सिंघल को इस बेहद आत्मीय शुरुआत के लिए ढेरों शुभकामनाएं। आशा है अगली किताबें भी ऐसे ही दिल के दरवाज़े खटखटाती रहेंगी।

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