
04/09/2025
अब रोज़मर्रा की चीज़ों पर कम टैक्स लगेगा। सोचिए, वही तेल, साबुन, टूथपेस्ट, या बच्चों की कॉपियाँ और पेंसिलें, जिन पर पहले 12% से 18% तक GST देना पड़ता था, अब सिर्फ़ 5% या शून्य हो गया है। मतलब, घर का बजट थोड़ा हल्का महसूस होगा।
किसानों के लिए भी ये एक बड़ी राहत की तरह दिख रही है। ट्रैक्टर, टायर, ड्रिप इरिगेशन सिस्टम और बायो-कीटनाशक – ये सब खेती की ज़रूरी चीज़ें अब सस्ती होंगी।
हेल्थकेयर की तरफ देखें तो मेडिकल ऑक्सीजन, टेस्ट किट्स, ग्लूकोमीटर और यहां तक कि इंश्योरेंस पर भी टैक्स घटा है। महामारी के बाद से स्वास्थ्य सुविधाएँ हर किसी के लिए चिंता का विषय रही हैं। ऐसे में ये कदम सही दिशा में है।
शिक्षा पर भी सरकार ने फोकस किया है। कॉपियाँ, पेंसिल, मैप्स और क्रेयॉन्स जैसे सामान अब टैक्स फ्री हो गए हैं। सुनने में ये छोटा बदलाव लगता है, लेकिन गरीब और मिडिल क्लास परिवारों के लिए बच्चों की पढ़ाई थोड़ी आसान ज़रूर होगी।
दूसरी तरफ, बड़े सामान जैसे AC, टीवी, वॉशिंग मशीन और कुछ गाड़ियाँ भी सस्ती होने वाली हैं। पहले इन पर 28% टैक्स लगता था, अब सिर्फ़ 18% लगेगा।
आख़िर में, एक बड़ा आर्थिक पहलू भी है। उम्मीद यही है कि जब चीज़ें सस्ती होंगी तो खपत बढ़ेगी और अर्थव्यवस्था को एक नई रफ़्तार मिलेगी।
कुल मिलाकर, ये GST सुधार जनता को एक त्योहारी तोहफ़े की तरह पेश किए गए हैं।