
25/07/2025
मैं आज उस वीरांगना को याद कर रहा हूं जिसने असहनीय पीड़ा को खून का घुट समझ कर पिया जरूर था लेकिन अपनी लाचारी बेबसी से तंग आकर आत्महत्या नहीं किया
आज मैं उस फूलन को याद कर रहा हूं जिसने जुल्म और ज्यादती के खिलाफ एक मिशाल पेश करते हुए सामंतियों के विरुद्ध जंग का ऐलान किया
देश में पहली बार किसी पीड़ित शोषित महिला ने सामंतियों का मजबूती से मुकाबला करते हुए उन्हें मिट्टी में मिला दिया था
वीरांगना फूलन देवी को सत सत नमन ....