
05/08/2025
यह बात दिसंबर 1995 की है, जब पश्चिम बंगाल के पुरुलिया में एक रूसी विमान से रात के अंधेरे में सैकड़ों एके-47 राइफलें, पिस्तौल और ग्रेनेड गिराए गए थे। वरिष्ठ पत्रकार चंदन नंदी ने अपनी किताब 'द नाइट इट रेन्ड गन्स' में इस घटना का विस्तार से जिक्र किया है, जिसने पूरे देश को हिला दिया था।
इस घटना को अंजाम देने वाले किम डेवी समेत कई लोग पकड़े गए, लेकिन इस कांड का मास्टरमाइंड डेवी रहस्यमयी तरीके से मुंबई एयरपोर्ट से भागने में कामयाब हो गया। बाद में डेवी ने अपनी किताब 'दे कॉल्ड मी टेररिस्ट' में दावा किया कि इस ऑपरेशन में भारत की खुफिया एजेंसी रॉ भी शामिल थी। पूर्व रॉ अधिकारी आरके यादव ने भी अपनी किताब 'मिशन रॉ' में इन दावों को पुख्ता करते हुए कहा कि ब्रिटेन ने भारत को इस ऑपरेशन की पहले ही जानकारी दे दी थी।
कई सालों की जांच और कोर्ट केस के बाद भी यह घटना एक ऐसा रहस्य बनी हुई है, जिसके कई सवालों के जवाब आज भी नहीं मिल पाए हैं।